दरअसल, पाकिस्तान ने मंगलवार को अपना नया राजनैतिक नक्शा ( Pakistan New Political Map ) जारी किया है। इस नक्शे में पाकिस्तान ने भारत के कई इलाकों को अपना बताया है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ( Pakistan PM Imran Khan ) ने मंगलवार को एक बैठक में देश के नएनक्शे को पेश किया। इसमें जम्मू-कश्मीर, लद्धाख के सियाचिन और गुजरात के जूनागढ़ ( Jammu and Kashmir, Siachen of Ladakh and Junagadh of Gujarat ) को अपना बताया है।
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पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ( Foreign Minister Shah Mehmood Qureshi ) ने कहा कि भारत ने इन इलाकों पर अवैध तरीके से कब्जा जमा रखा है। इतना ही नहीं, उन्होंने इस बात को स्वीकार भी किया कि सर क्रीक ( Sir Creek ) में भारत के साथ उसका विवाद है। इसके बावजूद भी कुरैशी ने स्पष्ट तौर पर ये कहा कि जिन इलाकों को नए नक्शे में शामिल किया गया है वह पाकिस्तान का हिस्सा है।
लद्दाख और जम्मू-कश्मीर पर पाकिस्तान पहले भी करता रहा है दावा
आपको बता दें कि पाकिस्तान इससे पहले जम्मू-कश्मीर ( Jammu And Kashmir ) और लद्दाख पर अपना दावा करता रहा है। हालांकि कई बार अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर पाकिस्तान को मुंह की खानी पड़ी है। हालांकि इस बार सबसे आश्चर्य की बात ये है कि पाकिस्तान ने गुजरात के जूनागढ़ पर अपना दावा ठोक दिया है।
पाकिस्तान ने अपने नए नक्शे में गुजरात के जूनागढ़ को भी अपने हिस्से के तौर पर शामिल किया है। पाकिस्तान ने अपने नए नक्शे में एक और भारतीय इलाके पर अपना दावा ठोका है, तो वहीं मौजूदा समय में भारत और चीन ( India China border Dispute ) के बीच लद्दाख क्षेत्र के जिस इलाके पर विवाद चल रहा है उसे ‘अनडिफाइंड फ्रंटियर’ करार दिया है। प्रधानमंत्री इमरान खान ने कैबिनेट की बैठक के बाद देश का ये नया पॉलिटिकल मैप जारी किया है। इस मैप में सियाचिन को पाकिस्तान का हिस्सा बताया गया है।
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गौरतलब है कि वर्तमान समय में चीन और नेपाल के साथ भारत का सीमा विवाद ( Border Dispute ) पर तकरार चल रहा है। नेपाल ने जहां भारत के तीन इलाकों लिपुलेख, लिम्पियाधुरा और कालापानी ( Lipulekh, Limpiyadhura and Kalapani ) को अपना बताते हुए नया राजनैतिक नक्शा जारी कर संसद से पास कराया, वहीं चीन पैंगोंग सो-लैक पर अपना दावा जताते हुए पीछे हटने से इनकार कर दिया है। गलवान घाटी ( Galwan Valley ) पर चीन ने अपना दावा करते हुए भारतीय सैनिकों पर हमला भी किया था। हालांकि भारतीय सैनिकों ने भी पलटवार करते हुए चीन को उनकी औकात दिखा दी थी। इसके बाद दोनों देशों में सैन्य स्तर की बातचीत जारी है।