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अनूपपुर

पुरातत्व और ऐतिहासिक धरोहरों से समृद्ध जिला देखदेख के अभाव में जीर्ण-शीर्ण हो रहीं मूर्तियां

अनूपपुर. अनूपपुर जिला पुरातात्विक संपदा से भरपूर है। जिले में जगह-जगह ऐतिहासिक प्राचीन प्रतिमाएं मौजूद हैं जिन्हें स्थानीय देवालयों में रखा गया है। साथ ही पूजा अर्चना भी लंबे समय से जारी है। जिलेभर में मौजूद इन प्रतिमाओं के संरक्षण के लिए कोई विशेष प्रयास नहीं किए गए हैं। काफी समय से यहां संग्रहालय की […]

अनूपपुरNov 18, 2024 / 12:03 pm

Sandeep Tiwari

अनूपपुर. अनूपपुर जिला पुरातात्विक संपदा से भरपूर है। जिले में जगह-जगह ऐतिहासिक प्राचीन प्रतिमाएं मौजूद हैं जिन्हें स्थानीय देवालयों में रखा गया है। साथ ही पूजा अर्चना भी लंबे समय से जारी है। जिलेभर में मौजूद इन प्रतिमाओं के संरक्षण के लिए कोई विशेष प्रयास नहीं किए गए हैं। काफी समय से यहां संग्रहालय की मांग की जा रही है, ताकि जगह-जगह पड़ी इन मूर्तियों को व्यवस्थित किया जा सके, लेकिन आज तक इसकी मांग पूरी नहीं हो पाई है। जानकारी के अनुसार जिले में 100 ऐसे स्थान हैं जहां पर पुरातत्व महत्व की मूर्तियां ग्रामीण क्षेत्रों में मंदिर, चौरा एवं देव स्थलों में रखी हुई हैं। सबसे ज्यादा पुष्पराजगढ़ विकासखंड में ऐसी मूर्तियां मौजूद हैं। इसके अलावा जैतहरी, कोतमा तथा अनूपपुर विकासखंड में भी विभिन्न ग्रामों में ऐसी मूर्तियां जमीन की खुदाई और खेतों में हल चलाने के दौरान पाई गई हैं। कई दशक पूर्व से स्थानीय लोगों ने इन मूर्तियों को देव स्थलों में रख दिया है। इनकी पूजा अर्चना भी की जा रही है। इन स्थानों पर रखी हुई हैं पुरातात्विक महत्व की प्रतिमाएं पुष्पराजगढ़ विकासखंड अंतर्गत ग्राम कोयलारी, गिरारी, करपा, धरहर कला, कोतमा के निगवानी, कोठी, जैतहरी के वेंकट नगर, कनेरी गढ़, पिपरिया, भगत बांध, पकरिया, केल्हौरी, मडिया रास, खुटवा देवरी, करही वाह, सीतापुर, बरबसपुर, पोड़ी, बकेली, कोडैली, खाडा, भोलगढ, पासला, बिजौडी, मझगवा, अमलाई पयारी, सेंदुरी, छुल्हा, जैतहरी, लहरपुर, चोरभाठी, सुलखरी, सालबहरा, धिरौल, कोड़ा, कांसा, पांगना गांव में खुदाई के दौरान प्राचीन प्रतिमाएं प्राप्त हुई हैं और यहां के देव स्थलों में रखी हुई है।
संग्रहालय के लिए किया पत्राचार

जिला प्रशासन के अधिकारियों का कहना है कि पुरातत्व संरक्षण विभाग के अधिकारियों से इस संबंध में पूर्व में पत्राचार किया गया था। इसके साथ ही लगातार उनसे संपर्क किया जा रहा है जिसमें उन्होंने अनूपपुर जिले में आकर यहां के पुरातात्विक संपदा को देखने के बाद यह निर्णय लेंगे कि यहां संग्रहालय प्रारंभ किया जा सकता है या नहीं।
जैतहरी विकास खंड के कोलमी छुलकारी में रखीं दर्जनों मूर्तियां

जैतहरी विकासखंड अंतर्गत ग्राम कोलमी छुलकारी में देवी चौरा में दर्जनों की संख्या में पुरातत्व महत्व की मूर्तियां रखी हुई हैं। ग्रामीणों का कहना है कि पूर्वजों के समय मूर्तियां खेतों की खुदाई के दौरान प्राप्त हुई थी जिसके बाद से इन्हें स्थानीय देव स्थल में रख दिया गया था और लगातार इनकी पूजा ग्रामीण कर रहे हैं। मूर्तियां कितनी पुरानी हंै और पुरातत्व महत्व से कितनी महत्वपूर्ण हैं इसकी जानकारी अब तक नहीं हो पाई है।
ग्राम भाद में वर्षों से लोग कर रहे पूजा

अनूपपुर जनपद अंतर्गत ग्राम पंचायत भाद में दूआरी बाबा धार्मिक स्थल में कई दशक पूर्व खुदाई के दौरान मूर्तियां प्राप्त हुई थी। स्थानीय ग्रामीणों ने इन मूर्तियों को गांव के ही धार्मिक स्थल में रखकर इसकी पूजा शुरू कर दी। गांव के लोग बीते कई पीढिय़ों से इनकी पूजा करते आ रहे हैं। उनका कहना है कि सूचना देने के बाद भी आज तक इन मूर्तियों की किसी ने सुध नहीं ली। यदि विशेषज्ञ निरीक्षण करें तो जिले की संस्कृति और पुरातात्विक रूप से इसके महत्व की जानकारी हो पाएगी। साथ ही इनका संरक्षण भी हो सकेगा।
यह संबंध में पुरातत्व विभाग जबलपुर और रीवा के अधिकारियों से पत्राचार एवं संवाद किया गया था। वह जल्द ही जिले का भ्रमण करेंगे इसके बाद ही तय हो पाएगा कि यहां संग्रहालय प्रारंभ किया जाएगा या नहीं। दिलीप पांडे, डिप्टी कलेक्टर अनूपपुर

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