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आतंकियों की जगह अमरीका ने मार दिए 7 बच्चों समेत दस निर्दोष नागरिक, अब मांग रहे माफी

अमरीका ने इस गलती को मान लिया है और अब उसने माफी मांगी है। अमरीकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन के अनुसार अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में 29 अगस्त को किए गए एक ड्रोन हमले में सात बच्चों समेत दस निर्दोष नागरिकों की मौत हो गई।
 

Sep 18, 2021 / 09:55 am

Ashutosh Pathak

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नई दिल्ली।

अफगानिस्तान में काबुल एयरपोर्ट पर हमला करने वाले आतंकियों को मारने के लिए अमरीकी की ओर से एयर स्ट्राइक की गई थी। कुछ दिनों बाद इसमें सामने आया था एयर स्ट्राइक में दस निर्दोष नागरिकों की मौत हो गई थी। इनमें अमरीकी सैनिकों को सहयोग करने वाले लोग भी शामिल थे।
अमरीका ने इस गलती को मान लिया है और अब उसने माफी मांगी है। अमरीकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन के अनुसार अफगानिस्तान की राजधानी काबुल में 29 अगस्त को किए गए एक ड्रोन हमले में सात बच्चों समेत दस निर्दोष नागरिकों की मौत हो गई। अमरीका ने यह तथ्य भी स्वीकार किया है मारे गए निर्दोष नागरिक आतंकी संगठन आईएसआईएस-के से जुड़े हुए थे और अमरीकी सेना के लिए खतरा नहीं थे।
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अमरीकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने काबुल में हुए ड्रोन हमले के लिए माफी मांगी। हमले में दस निर्दोष लोगों की मौत हो गई थी। ऑस्टिन ने एक बयान में कहा, मैं ड्रोन हमले में मारे गए लोगों के पीडि़त परिवार के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं। अमरीकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने बताया कि हम माफी चाहते हैं और भविष्य में इस भयानक गलती से सीखने की कोशिश करेंगे।
दूसरी ओर, पेंटागन में जनरल केनेथ मैकेंजी ने बताया कि यह एक गलती थी और वह इसके लिए गंभीरतापूर्वक माफी मांगते हैं। अमरीकी रक्षा मंत्रालय के यूनाइटेड स्टेट्स सेंट्रल कमांड की एक जांच में सामने आया कि अमरीकी हमले में निर्दोष सहायता कर्मी और उनके परिवार के सदस्यों की मौत हो गई थी। इनमें सात बच्चे भी शामिल थे।
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इस हमले की जांच से पहले इसे शुरू में सही बताया गया था। हमले में मारी गई सबसे छोटी बच्ची की उम्र सिर्फ दो साल थी। उसका नाम सुमाया था। जांच में बताया गया कि सुरक्षा बलों ने जिस कार में जिस चीज को रखते हुए देखा था वह विस्फोटक की जगह पानी का कंटेनर था और संभवत: इसी बात को समझने में उनसे चूक हो गई, जिसका खामियाजा दस निर्दोष लोगों को अपनी जान देकर चुकाना पड़ा।
काबुल एयरपोर्ट पर हुए हमले के 48 घंटे बाद अमरीका ने एयर स्ट्राइक किया था। इसमें अमरीका की ओर से इस्लामिक स्टेट खोरासान के आतंकियों को मार गिराने का दावा किया गया था। बता दें कि काबुल हमले में 13 अमरीकी सैनिकों की मौत हो गई थी। हमले में दो सौ अन्य लोग भी मारे गए थे, जबकि करीब इतने ही लोग घायल हुए थे।
अमरीकी राष्ट्रपति जो बिडेन ने काबुल हमले में मारे गए अपने सैनिकों के परिजनों से इसका बदला लेने का वादा किया था। बिडेन ने कहा था कि वे जहां भी होंगे, हम ढूंढक़र उनका शिकार करेंगे और उन्हें सजा देंगे। 29 अगस्त को एयर स्ट्राइक कर अमरीका की ओर से बदला लिए जाने का दावा किया गया था।
उस बीच, पेंटागन ने कहा था कि एयर स्ट्राइक में उसने काबुल धमाके के साजिशकर्ता इस्लामिक स्टेट खोरासान के आतंकी को मार गिराया है। मगर अब इस रिपोर्ट पर अमरीकी कार्रवाई पर सवाल उठ रहे हैं। एयर स्ट्राइक में गलती से दस निर्दोष लोगों के मारे जाने का दावा किया जा रहा है।

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