scriptकड़े पहरे के बीच पुलिसकर्मियों की करीब 500 पत्नियां, माताएं और बहनें राजधानी रवाना! | Around 500 wives, mothers and sisters of policemen went for capital | Patrika News
अंबिकापुर

कड़े पहरे के बीच पुलिसकर्मियों की करीब 500 पत्नियां, माताएं और बहनें राजधानी रवाना!

राजधानी जाने से रोकने पुलिस ने झोंकी ताकत, बर्खास्तगी की धमकी का भी परिवार पर नहीं पड़ा असर, पुलिस लाइन में बैठाया था कड़ा पहरा

अंबिकापुरJun 24, 2018 / 08:23 pm

rampravesh vishwakarma

Enquiry

Enquiry

अंबिकापुर. वेतन विसंगति सहित 11 सूत्रीय मांगों को लेकर पुलिसकर्मियों की पत्नियों, माताओं व बहनों के आंदोलन को कुचलने पुलिस विभाग ने पूरी ताकत झोंक दी है। सोमवार को रायपुर में आयोजित विरोध प्रदर्शन में शामिल होने से रोकने के लिए पुलिसकर्मियों पर अधिकारियों द्वारा कड़ी नजर रखी जा रही है।
इधर रक्षित केंद्र में कड़ा पहरा बैठा दिया गया है। पुलिस लाइन से बाहर निकलने वाले कर्मचारियों व उनके परिवार वालों से पूछताछ भी की जा रही है। इसके साथ ही जिले के आला अधिकारियों द्वारा सभी आरक्षकों पर दबाव बनाने के भी हरसंभव प्रयास किए जा रहे हैं।
Notice देने के साथ ही उन्हें बर्खास्तगी तक की धमकी दी गई लेकिन परिवार पर इसका कोई असर नहीं पड़ा। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पुलिस परिवार के लगभग 500 सदस्य रायपुर आंदोलन में शामिल होने निजी व किराए के वाहनों से रवाना हो चुके हैं।
Locked in police line gate
गौरतलब है कि पुलिस कर्मियों के परिजन ने वेतन विसंगति सहित 11 सूत्रीय मांगों को लेकर चार दिन पूर्व शहर में विशाल रैली निकाल कर सरकार के खिलाफ बिगुल फूंका था। पुलिस विभाग के आला अधिकारी इसे अनुशासनहीनता बताते तथा पुलिस रेग्यूलेशन एक्ट का हवाला देते हुए आंदोलन को कुचलने का हर संभव प्रयास कर रहे हैं।
25 जून को राजधानी रायपुर में पुलिस कर्मचारियों के परिजन द्वारा 11 सूत्रीय मांगों को लेकर आंदोलन किया जाना है। आंदोलन में पूरे प्रदेश से कर्मचारियों के परिवार वाले शामिल होंगे। आंदोलन में परिजन के शामिल होने से रोकने के लिए पुलिस विभाग के आला अधिकारियों ने पूरी ताकत झोंक दी है। दो दिन पूर्व आईजी ने सरगुजा संभाग के पांचों जिले के पुलिसकर्मियों की बैठक लेकर समझाइश देने के साथ ही पत्र भी लिखवाया था।
आला अधिकारियों के दबाव के बावजूद पुलिसकर्मियों के परिवार वालों का आंदोलन शांत नहीं हुआ है। बल्कि अधिकारियों के दबाव को देखते हुए परिवार वालों में आक्रोश और बढ़ता ही जा रहा है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार रायपुर में आयोजित विरोध प्रदर्शन में शामिल होने कुछ पुलिस कर्मियों के परिजन निजी वाहनों से रवाना भी हो चुके हैं।
इसकी जानकारी लगते ही रविवार को रक्षित केंद्र का मुख्य गेट बंद कर पहरा बैठा दिया गया है। सुबह 12 बजे के बाद रक्षित केंद्र स्थित पुलिस कॉलोनी से बाहर आने जाने वाले का नाम दर्ज करने के साथ ही उनके निकलने का समय लिखने के बाद उनसे हस्ताक्षर भी कराया जा रहा है। देर रात तक रक्षित केंद्र के बाहर पहरा लगा था।

अवकाश निरस्त, समझाइश देने की सलाह
पुलिस अधिकारियों द्वारा सभी कर्मचारियों का अवकाश निरस्त करने के साथ ही नये आवेदन स्वीकार भी नहीं किए जा रहे हैं। मेडिकल परेशानी होने के बावजूद इन दिनों अवकाश नहीं दिया जा रहा है। आंदोलन में किसी भी पुलिसकर्मी का परिवार शामिल नहीं हो, इसे ध्यान में रखते हुए पहले कर्मचारियों को अधिकारियों द्वारा समझाइश दी गई। इसके साथ ही उनसे एक पत्र भी लिखवाया गया है कि वे अपने परिवार को इस आंदोलन में शामिल नहीं होने देंगे।

सिर्फ 90 परिवारों पर दे रहे ध्यान
सरगुजा जिले में 717 आरक्षक पदस्थ हैं। पुलिस लाइन कॉलोनी में 90 परिवार निवासरत हैं। इसमें भी 20 परिवार अधिकारियों का है। अधिकारियों की नजर सिर्फ इनपर ही हंै। जबकि कई ऐसे पुलिसकर्मी हैं जो शहर में जगह-जगह किराये के मकान में परिवार के साथ रहते हैं। उनमें से अधिकांश की तो पहचान भी नहीं की जा सकती है। ऐसे कर्मचारियों के कई परिजन आंदोलन में शामिल होने के लिए रवाना भी हो चुके हैं।

बस व निजी वाहनों को रोक कर रहे हैं पूछताछ
पुलिसकर्मियों के परिवार को रायपुर जाने से रोकने बाकायदा बस स्टैंड से रायपुर व बिलासपुर की तरफ जाने वाली प्रत्येक बस को रोककर पूछताछ की जा रही है। इसके साथ ही रायपुर मार्ग से गुजरने वाली निजी वाहनों को भी रोका जा रहा है। सूत्रों की मानें तो निजी वाहनों से अब तक 500 से अधिक पुलिस कर्मियों के परिवार के सदस्य रायपुर महाधरना में शामिल होने के लिए रवाना हो चुके हैं।

अंबिकापुर-दुर्ग ट्रेन से हुए रवाना
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार कुछ परिवार के सदस्य अंबिकापुर-दुर्ग ट्रेन से रायपुर के लिए रवाना होने वाले हैं। रेलवे स्टेशनों में भी पहरा लगाया गया है कि कोई भी परिवार ट्रेन से रायपुर के लिए रवाना न हो सके।

बर्खास्तगी व कार्रवाई की मिल रही है धमकी
अधिकारियों द्वारा आंदोलन में शामिल होने से रोकने के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है। लिखित में तो नहीं लेकिन मौखिक तौर पर पुलिसकर्मियों को बर्खास्तगी व कार्रवाई किए जाने तक की धमकी दी जा रही है।

Hindi News / Ambikapur / कड़े पहरे के बीच पुलिसकर्मियों की करीब 500 पत्नियां, माताएं और बहनें राजधानी रवाना!

ट्रेंडिंग वीडियो