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अलवर

जिले में 44 लाख की आबादी पर सिर्फ 210 रोडवेज

अलवर. सरकार की सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था गड़बड़ाई हुई है। अलवर जिले में 44 लाख की आबादी के लिए राजस्थान रोडवेज की मात्र करीब 210 बसें ही चल रही हैं।

अलवरJun 11, 2023 / 11:49 am

Sujeet Kumar

जिले में 44 लाख की आबादी पर सिर्फ 210 रोडवेज

जिले में 44 लाख की आबादी पर सिर्फ 210 रोडवेज

सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था गड़बड़ाई : जिले में रोडवेज के मुकाबले तीन गुणा दौड़ रही निजी बसें
ट्रैफिक पुलिस मौन, निजी बस चालकों ने बनाए मनमर्जी के स्टैण्ड, लग रहा जाम

पत्रिका न्यूज़ नेटवर्क

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अलवर. सरकार की सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था गड़बड़ाई हुई है। अलवर जिले में 44 लाख की आबादी के लिए राजस्थान रोडवेज की मात्र करीब 210 बसें ही चल रही हैं। जिससे सैकड़ों गांवों में लोगों को रोडवेज की बस सेवा नहीं मिल पा रही है। इसका फायदा निजी सवारी वाहन उठा रहे हैं और खूब कमाई कर रहे हैं। प्राइवेट बसों की संख्या साल दर साल तेजी से बढ़ रही है। निजी वाहनों के बीच सड़क व चौराहों पर अचानक रोकने से ट्रैफिक व्यवस्था भी बिगड़ रही है।
अलवर जिले में राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम के अलवर, मत्स्य नगर और तिजारा डिपो हैं। इन तीनों डिपो में करीब 210 रोडवेज बसें हैं, जो कि 44 लाख की आबादी को सार्वजनिक परिवहन सुविधा मुहैया कराने के हिसाब से नाकाफी हैं। ऐसे में अलवर जिले में प्राइवेट बसों की संख्या लगातार तेजी से बढ़ रही है। फिलहाल अलवर जिले में 591 प्राइवेट बसें चल रही हैं। रोडवेज बसों की संख्या बरसों से इतनी ही बनी हुई है, लेकिन प्राइवेट बसों की संख्या हर साल बढ़ रही है।
पांच साल में 270 प्राइवेट बसें बढ़ी

परिवहन विभाग के आंकड़ों के अनुसार अलवर जिले फिलहाल 591 प्राइवेट बसें हैं। जिनमें अन्तरराज्यीय, अन्य श्रेणी, ग्रामीण, लोक परिवहन, पीएसवी, संभाग व उप नगरीय सेवा की बसें शामिल हैं। विशेष बात यह है कि पिछले पांच साल में अलवर जिले में 270 बसों की खरीदी गई हैं। जिनका रजिस्ट्रेशन अलवर आरटीओ से कराया गया है।
कहीं भी स्टैंड नहीं, यातायात व्यवस्था भी बिगाड़ रही

अलवर जिले में ज्यादातर इलाकों में प्राइवेट बसों के लिए स्टैंड निर्धारित नहीं है। प्राइवेट बस संचालकों ने अलवर शहर सहित कस्बों में जगह-जगह अवैध स्टैण्ड बना लिए हैं। शहर में कालीमोरी फाटक, अग्रसेन ओवरब्रिज के नीचे, लालडिग्गी रोड, आरआर कॉलेज चौराहा, कालीमोरी पुलिया के नीचे, जेल चौराहा, दशहरा मैदान आदि जगह अवैध स्टैंड बनाए हुए हैं। ये बसें रोड पर ही खड़ी हो जाती हैं। जिसके कारण ट्रैफिक व्यवस्था बिगड़ रही है और जाम लग रहे हैं। इससे राहगीरों को परेशानी उठानी पड़ रही है, लेकिन ट्रैफिक पुलिस की ओर से इन पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।

ढाई गुना से ज्यादा यात्रीभार उठा रही प्राइवेट बसें
जिले में राजस्थान रोडवेज की 210 बसों में रोजाना करीब 20 से 25 हजार यात्री सफर कर रहे हैं। वहीं, प्राइवेट बसों की संख्या ढाई गुना से ज्यादा है। ऐसे में प्राइवेट बसें रोजाना 60 से 70 हजार यात्री भार उठा रही हैं। इससे रोडवेज को भी नुकसान झेलना पड़ रहा है।
कहीं भी स्टैंड नहीं, ट्रैफिक व्यवस्था भी बिगाड़ रही

अलवर जिले में ज्यादातर इलाकों में प्राइवेट बसों के लिए स्टैंड निर्धारित नहीं है। प्राइवेट बस संचालकों ने अलवर शहर सहित कस्बों में जगह-जगह अवैध स्टैण्ड बना लिए हैं। शहर में कालीमोरी फाटक, अग्रसेन ओवरब्रिज के नीचे, लालडिग्गी रोड, आरआर कॉलेज चौराहा, कालीमोरी पुलिया के नीचे, जेल चौराहा, दशहरा मैदान आदि जगह अवैध स्टैंड बनाए हुए हैं। ये बसें रोड पर ही खड़ी हो जाती हैं। जिसके कारण ट्रैफिक व्यवस्था बिगड़ रही है और जाम लग रहे हैं। इससे राहगीरों को परेशानी उठानी पड़ रही है, लेकिन ट्रैफिक पुलिस की ओर से इन पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।

 

591 प्राइवेट बसें हैं

अलवर जिले में 591 प्राइवेट बसें रजिस्टर्ड हैं। इनमें विभिन्न श्रेणी की बसें शामिल हैं। इनमें विशेष बात यह है कि पिछले पांच साल में अलवर जिले में 270 नई प्राइवेट बसों के रजिस्ट्रेशन हुए हैं।
– ललित गुप्ता, जिला परिवहन अधिकारी, अलवर।

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