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SCO Summit 2024: चीन-पाकिस्तान को उनके मुंह पर ही PM मोदी ने लगाई ऐसी लताड़, मुंह देखते रह गए जिनपिंग-शहबाज़

SCO Summit 2024: पाकिस्तान और चीन पर निशाना साधते हुए पीएम मोदी ने कहा कि सीमा पार आतंकवाद के लिए निर्णायक प्रतिक्रिया की जरूरत है और आतंकवाद के वित्तपोषण और भर्ती का दृढ़ता से मुकाबला किया जाना चाहिए।

नई दिल्लीJul 04, 2024 / 05:07 pm

Jyoti Sharma

PM Narendra Modi Speak on terrorism in Front of China and Pakistan In SCO Summit 2024

SCO Summit 2024: कजाकिस्तान में हो रहे SCO शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चीन और पाकिस्तान (China And Pakistan) की मौजूदगी में ऐसी बात बोल दी जिस पर चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज़ शरीफ उनका मुंह देखते रहे गए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने कहा कि आतंकवाद के किसी भी रूप या अभिव्यक्ति को उचित नहीं ठहराया जा सकता है। उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से उन देशों को अलग-थलग करने और बेनकाब करने का आह्वान किया जो आतंकवादियों को पनाह देते हैं, सुरक्षित पनाहगाह प्रदान करते हैं और आतंकवाद को नजरअंदाज करते हैं।

आतंक फैलाने वाले देशों को किया जाए अलग-थलग- PM मोदी

दरअसल विदेश मंत्री एस जयशंकर (S. Jaishankar) ने अस्ताना में कजाकिस्तान की अध्यक्षता में आयोजित शंघाई सहयोग संगठन में पीएम मोदी की ओर से ये टिप्पणी की। उन्होंने SCO Summit 2024 को एक सिद्धांत-आधारित संगठन बताते हुए, पीएम मोदी की तरफ से कहा कि “आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप, बल का प्रयोग न करना या हमारी विदेशी नीतियों के आधार के रूप में बल के प्रयोग की धमकी, हम राज्य की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता के सिद्धांतों के विपरीत कोई भी कदम नहीं उठाने पर भी सहमत हुए हैं।”
PM मोदी ने आतंकवाद से निपटने को प्राथमिकता देने का आह्वान किया, जिसे उन्होंने एससीओ के मूल लक्ष्यों में से एक बताया। पीएम मोदी ने इस बात पर जोर दिया कि अगर आतंकवाद को अनियंत्रित छोड़ दिया गया तो ये क्षेत्रीय और वैश्विक शांति के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। उन्होंने जोर देकर कहा कि सीमा पार आतंकवाद के लिए निर्णायक प्रतिक्रिया की आवश्यकता है और आतंकवाद के वित्तपोषण और भर्ती का दृढ़ता से मुकाबला किया जाना चाहिए।

पाकिस्तान और चीन पर पीएम मोदी का निशाना

पाकिस्तान और चीन पर निशाना साधते हुए पीएम मोदी की तरफ से एस जयशंकर ने कहा कि सीमा पार आतंकवाद के लिए निर्णायक प्रतिक्रिया की जरूरत है और आतंकवाद के वित्तपोषण और भर्ती का दृढ़ता से मुकाबला किया जाना चाहिए। हमें कट्टरपंथ को फैलने से रोकने के लिए भी सक्रिय कदम उठाने चाहिए। 
प्रधानमंत्री मोदी की तरफ से बयान देते हुए विदेश मंत्री एस जयशंकर ने ईरान को भी बधाई दी जो एक सदस्य के रूप में SCO शिखर सम्मेलन में भाग ले रहा है। उन्होंने हेलीकॉप्टर दुर्घटना में ईरान के पूर्व राष्ट्रपति इब्राहिम रायसी और दूसरे नेताओं के निधन पर शोक व्यक्त किया। उन्होंने बेलारूस के राष्ट्रपति अलेक्जेंडर लुकाशेंको को भी बधाई दी और SCO के नए सदस्य के रूप में बेलारूस का स्वागत किया।

चीन करेगा अगले सम्मेलन की अध्यक्षता 

शंघाई सहयोग संगठन (SCO) के सदस्य देशों के प्रमुखों की परिषद की अगली बैठक 2025 में चीन में होगी और चीन एससीओ की अध्यक्षता भी करेगा। एससीओ के राष्ट्राध्यक्षों की परिषद के अस्ताना घोषणापत्र में कहा गया, “आगामी समय के लिए एससीओ की अध्यक्षता चीन को सौंपी जा रही है। एससीओ सदस्य देशों के प्रमुखों की परिषद की अगली बैठक 2025 में चीन में आयोजित की जाएगी।”

विदेश मंत्री एस जयशंकर कर रहे हैं भारत का प्रतिनिधित्व

बता दें कि विदेश मंत्री जयशंकर कजाकिस्तान में SCO शिखर सम्मेलन की 24वीं बैठक में भारतीय प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व कर रहे हैं। SCO की स्थापना 2001 में शंघाई में एक शिखर सम्मेलन में रूस, चीन, किर्गिज़ गणराज्य, कजाकिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपतियों ने की थी। आर्थिक और सुरक्षा समूह में भारत, चीन, रूस, पाकिस्तान, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान शामिल हैं। इसमें भारत की एंट्री रूस ने तो पाकिस्तान की एंट्री चीन ने कराई थी। 
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