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Cheetah in India on PM Modi Birthday: आ गए चीते, नामीबिया से 8 चीतों को ला रहे विमान ने ग्वालियर एयरबेस पर किया लैंड, 10 बड़ी बातें

नामीबिया से आठ चीते – एक विशेष मालवाहक विमान में उड़ान भरते हुए – शनिवार सुबह मध्य प्रदेश के ग्वालियर हवाई अड्डे पर उतर चुके हैं। इसके बाद दुनिया में सबसे तेज गति से दौड़ने वाली इन बड़ी बिल्लियों को हेलिकॉप्टर से कुनो नेशनल पार्क ले जाया जाएगा, जहां उन्हें पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा छोड़ा जाएगा। बता दें, आज पीएम नरेंद्र मोदी की 72 वां जन्म दिवस भी है। पीएम 9.40 पर मप्र पहुंच रहे हैं।

Sep 17, 2022 / 08:27 am

Swatantra Jain

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हाईलाइट

मप्र के कूनो अभयारण्य के क्वारंटाइन बाड़े में एक महीने तक रहेंगे नामीबिया से आए 8 चीते
पर्यटकों को चीतों को देखने के लिए करीब तीन महीने जनवरी 2023 तक करना होगा इंतजार
भारत में 75 साल पहले वर्ष 1947 में देश में आखिरी बार देखा गया था चीता

Cheetah in India on pm modi Birthday/Live Updates and Latest News: देश में सात दशक बाद आज से फिर चीता युग की शुरुआत होने जा रही है। नामीबिया से 8 चीतों को लेकर उड़ा विशेष विमान कुछ ही देर में ग्वालियर एयरबेस पर लैंड कर चुका है। इनमें तीन नर और पांच मादा तेंदुआ शामिल हैं। एयरपोर्ट पर पशु चिकित्सक चीतों के स्वास्थ्य की जांच करेंगे और इसके बाद इन्हें वायुसेना के चिनूक हेलिकाप्टर से कूनो अभयारण्य लाया गया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज अपने जन्मदिवस पर इन्हें कूनो अभयारण्य में बनाए गए क्वारंटाइन बाड़े में छोड़ेंगे। 75 साल पहले वर्ष 1947 में देश में आखिरी बार चीता देखा गया था। छत्तीसगढ़ में कोरिया के महाराजा ने तीन चीता शावकों का एक साथ शिकार किया था। वर्ष 1952 में भारत सरकार ने चीतों को विलुप्त घोषित कर दिया था। अब आज देश में फिर से चीतों की वापसी हो रही है।
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आइए जानते हैें इसके बारे में 10 बड़ी बातें…
1. चीतों के साथ विमान भारतीय वायु सेना (IAF) द्वारा संचालित ग्वालियर के महाराजपुरा एयरबेस पर आज सुबह लगभग 8 बजे पहुंचा। एक घंटे बाद, उन्हें भारतीय वायुसेना के चिनूक भारी-भरकम हेलीकॉप्टर से कुनो नेशनल पार्क भेजा जाएगा।
2. चीतों पर दुनिया के अग्रणी विशेषज्ञ डॉ लॉरी मार्कर ने कहा, “बिल्लियाँ बहुत हल्के बेहोशी की हालत में होती हैं, लेकिन उन्हें शांत नहीं किया जाता है। वे सभी बहुत अच्छी लग रही हैं।”
3. चीता संरक्षण कोष (सीसीएफ) के अनुसार, नामीबिया में मुख्यालय वाला एक अंतरराष्ट्रीय गैर-लाभकारी संगठन और सबसे तेज़ भूमि पशु को बचाने के लिए समर्पित है, भारत के लिए बाध्य पांच मादा चीता दो से पांच वर्ष की आयु के हैं, जबकि नर आयु वर्ग के हैं 4.5 साल से 5.5 साल के बीच।
4. भारत अतीत में एशियाई चीतों का घर था लेकिन 1952 तक प्रजातियों को घरेलू रूप से विलुप्त घोषित कर दिया गया था। बड़ी बिल्लियों को एक अंतरमहाद्वीपीय स्थानान्तरण परियोजना के हिस्से के रूप में नामीबिया से भारत लाया जा रहा है।
5. कूनो राष्ट्रीय उद्यान मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले में स्थित है, जो ग्वालियर से लगभग 165 किमी दूर स्थित है। प्रचुर मात्रा में शिकार और घास के मैदानों के कारण कुनो पार्क को घर के रूप में चुना गया था।
6. एक अधिकारी ने कहा कि प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी 17 सितंबर को तीन चीतों को पार्क के संगरोध बाड़ों में छोड़ने वाले हैं, जो उनका जन्मदिन भी है। 7. लेकिन आलोचकों ने चेतावनी दी है कि चीते अपने आवास के अनुकूल होने के लिए संघर्ष कर सकते हैं और पहले से मौजूद तेंदुओं की महत्वपूर्ण संख्या के साथ संघर्ष कर सकते हैं।
8. समाचार एजेंसी पीटीआई से शुक्रवार को बात करते हुए, प्रधान मुख्य वन संरक्षक (पीसीसीएफ) वन्यजीव, जेएस चौहान ने कहा, “चीते ग्वालियर पहुंचेंगे और वहां से उन्हें केएनपी के लिए एक विशेष हेलीकॉप्टर में उड़ाया जाएगा।”
9. अधिकारियों ने कहा कि ‘अफ्रीकी चीता इंट्रोडक्शन प्रोजेक्ट इन इंडिया’ की कल्पना 2009 में की गई थी और केएनपी में पिछले साल नवंबर तक बड़ी बिल्ली को पेश करने की योजना में देरी हुई है।
10. आईयूसीएन रेड लिस्ट ऑफ थ्रेटड स्पीशीज के तहत कमजोर माने जाने वाले, दुनिया भर में 7,000 से कम चीते बचे हैं – मुख्य रूप से अफ्रीकी सवाना में।
Mission Cheetah, Latest Update: चीतों के आने में हुई करीब डेढ़ घंटे की देरी
चीतों को लेकर नामीबिया से ग्वालियर एयर बेस पहुंचने वाला विशेष विमान डेढ़ घंटा लेट हो गया है अब यह विमान 8 बजे महाराजपुरा एयर बेस पर उतरा। पुलिस, प्रशासन सहित बड़ी संख्या में सभी अफसर विमान का इंतजार कर रहे हैं।
महाराजपुरा एयरपोर्ट के अंदर जाने से पहले जमा करवाए मोबाइल
ग्वालियर के महाराजपुरा एयरपोर्ट पर अब हलचल बढ़ गई है, किसी कुछ ही देर में नामीबिया से चीतों को लेकर आने वाला विशेष विमान यहां उतर सकता है। महाराजपुरा एयर बेस के मुख्य गेट के भीतर ही अफसरों के मोबाइल जमा करा दिए गए हैं, किसी को भी विशेष विमान के बाहर मोबाइल लेकर जाने की अनुमति नहीं है।
प्रधानमंत्री का रिजर्व दस्ता ग्वालियर एयर बेस पहुंचा
प्रधानमंत्री का रिजर्व कारकेड एयर बेस पहुंच गया है। पीएम यहाँ करीब 9.40 पर पहुंचेंगे। हर 1 मिनट में पुलिस और प्रशासन की गाड़ी महाराजपुरा एयर बेसपर प्रवेश ले रही हैं, वहीं इसी कारण पूरे भिंड रोड पर आवागमन भी सुस्त हो गया है। वाहन चालकों के बीच असमंजस भी है कि इतना वीआईपी मूवमेंट अचानक कैसे बढ़ गया है।

ग्वालियर एयरबेस उतरेगा चीतों को ला रहा विमान
कुछ देर बाद चीतो का विमान ग्वालियर महाराजपुरा एयरबेस पर उतरेगा एक-एक करके अफसरों की गाड़ियां पुलिस अधिकारियों की गाड़ियां महाराजपुरा एयर बेस में प्रवेश करती जा रही हैं। यह बता दें कि इस इंतजाम में 200 से 300 पुलिस अफसरों की और प्रशासन के अफसरों की ड्यूटी लगाई गई है और भिंड रोड सुबह से ही हाई अलर्ट के रूप में दिख रही है। महाराजपुरा एयर बेस पर चीतों को लेकर आने वाले विमान में 25 सदस्यीय दल नामीबिया से आ रहा है, चीतों की शिफ्टिंग के लिए इस दल को स्टाफ की जरूरत है, यह स्टाफ भी ग्वालियर से मदद को पहुंचा दिया गया है।
ग्वालियर एयरपोर्ट पर चीतों को लेकर तैयारियां हुई पूरी
नामीबिया से चीतों को लेकर विमान ग्वालियर एयरपोर्ट पर कुछ ही समय में पहुंचने की संभावना है। एयरपोर्ट पर तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। ग्वालियर कलेक्टर कौशलेंद्र विक्रम सिंह और एसएसपी अमित सांघी एयरपोर्ट पर पहुंच चुके हैं।

एक महीने तक क्वारंटाइन बाड़े में रहेंगे चीते
नामीबिया से कूना अभयारण्य आए चीते एक महीने तक क्वारंटाइन बाड़े में रहेंगे। इस दौरान इनके सामने सांभर और हिरण छोड़े जाएंगे। जनवरी 2023 तक एक नर चीते को कूनो के जंगल में खुला छोड़ा जाएगा, इसके बाद एक-एक करके अन्य चीतों को खुला छोड़ा जाएगा। अगले वर्ष जनवरी तक ही पर्यटक इन्हें कूनो में देख सकेंगे।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चीतों को कूना अभयारण्य के बाड़े में छोड़ेंगे

Mission Cheetah: नामीबिया से कूनो अभयारण्य लाए जा रहे 8 चीतों में तीन नर और पांच मादा चीता हैं। इन सभी की उम्र ढाई और साढ़े पांच साल के बीच है। इनमें से दो नर चीता सगे भाई हैं, इनकी उम्र साढ़े पांच साल हैं। वहीं तीसरे नर चीते की उम्र साढ़े चार साल है। 5 मादा चीतों में से दो की उम्र 5 साल है, एक की दो साल, एक की उम्र तीन से चार साल के बीच और एक मादा चीता की ढाई साल है।

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