विशिष्ट है भारत की जैव विविधता जंतु विज्ञान विभाग के प्रोफेसर और जिनोम सिक्वेसिंग एक्सपर्ट प्रो ज्ञानेश्वर चौबे ने पत्रिका को बताया कि तीन दिन तक चली कार्यशाला के दौरान विशेषज्ञ इस बात पर एकमत दिखे कि भारत की जैव विविधता बहुत ही विशिष्ट है और विश्व के अन्य देशों से भिन्न है। भारत में पायी जाने वाली जातियां और जन-जातियां एंडोगेमस मैरिज सिस्टम को फ़ॉलो करती है। एंडोगेमस मैरिज सिस्टम में कोई भी जाति या जनजाति अपने में ही शादी करती है और इस प्रक्रिया के कारण हर एक जाति या जनजाति भारत में यूनीक जेनेटिक प्रोफ़ाईल बनाती है। इस जेनेटिक प्रोफ़ाइल के कारण हर एक जाति और जनजाति में बहुत ही अलग अलग तरह के जीन संबंधित रोग पाए जाते है। इसीलिए जीन के आधार पर बनायी गयी दवाए रोगों के इलाज में कारगर होंगी। बैज्ञानिको ने इस बात पर ज़ोर दिया कि नेक्स्ट जेनरेशन सीक्वन्सिंग का उपयोग इस दिशा में एक नई क्रांति ले आएगा। भारत के वन-हेल्थ मिशन को एक मज़बूत नींव प्रदान करेगा।