जयशंकर ने ट्वीट किया, “आज उनकी जयंती पर काशी में महाकवि सुब्रमण्य भारती के परिवार से मिलने का सौभाग्य मिला। उनके पोते थिरु के वी कृष्णन जी से आशीर्वाद और प्रोत्साहन प्राप्त करने के लिए आभार।”
भारत के महानतम कवियों में सुब्रमण्यम भारती शामिल हैं। भारती का जन्म 11 दिसंबर 1882 को तमिलनाडु के तिरुनेलवेली जिले के एट्टायापुरम गांव में हुआ था। उनके बचपन का नाम सुब्बैया था। उनके पिता चिन्नास्वामी अय्यर और माता लक्ष्मी अम्मल थीं।
वह गीतात्मक कवि थे
तमिल साहित्य में एक नए युग की शुरुआत सुब्रमण्य भारती से हुई। उनकी रचनाएं ज्यादातर देशभक्ति, भक्ति और रहस्यवादी विषयों पर है। राष्ट्रवाद और भारत की स्वतंत्रता पर उनके गीतों ने तमिलनाडु में भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन का समर्थन करने के लिए जनता को एकजुट करने में मदद की है।
तमिल साहित्य में एक नए युग की शुरुआत सुब्रमण्य भारती से हुई। उनकी रचनाएं ज्यादातर देशभक्ति, भक्ति और रहस्यवादी विषयों पर है। राष्ट्रवाद और भारत की स्वतंत्रता पर उनके गीतों ने तमिलनाडु में भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन का समर्थन करने के लिए जनता को एकजुट करने में मदद की है।
भारती एक समाज सुधारक थे, जो जाति व्यवस्था के खिलाफ खड़े हुए। 11 सितंबर, 1921 को उनकी मृत्यु हो गई। एक कवि, पत्रकार, स्वतंत्रता सेनानी और समाज सुधारक के रूप में भारती ने न केवल तमिल समाज बल्कि पूरे मानव समाज पर एक महान प्रभाव डाला है।
अपनी यात्रा के पहले दिन, विदेश मंत्री ने दशाश्वमेध घाट पर गंगा आरती और वाराणसी में चल रहे काशी तमिल संगमम में भाग लिया। जहां उन्होंने महिला बास्केटबॉल टूर्नामेंट का भी उद्घाटन किया। जो संगमम का एक हिस्सा था।