वादी पक्ष आपस में बंट गए पिछली सुनवाई में जिला जज डॉ अजय कृष्ण विश्वेश की अदालत में कार्बन डेटिंग मामले में वादी पक्ष में चार एक तरफ हो गए और एक वादी का अलग मत था। चार महिला वादियों की ओर से सुप्रीम कोर्ट वकील हरिशंकर जैन व विष्णु जैन ने मांग कीकि, शिवलिंग के नीचे अरघे और आसपास की जांच कराई जाए। यह भी कहा था कि, यह काम शिवलिंग को छेड़छाड़ किए बिना होना चाहिए। वादी राखी सिंह के वकील ने कार्बन डेटिंग से शिवलिंग के खंडित होने का अंदेशा जताया था। जबकि मुस्लिम पक्ष ने पत्थर और लकड़ी की कार्बन डेटिंग नहीं होने का हवाला दिया था।
यह भी पढ़े – Gyanvapi Masjid : ज्ञानवापी पर सुप्रीम कोर्ट में नई याचिका, जानें अब क्या हुआ नया मामला पहले मुस्लिम पक्ष का प्रति उत्तर सुनेगी कोर्ट पिछली सुनवाई में सभी पक्षों को सुनने के बाद इस मामले में जिला जज ने सात अक्तूबर की तारीख आदेश के लिए नियत की थी। पर अब कोर्ट मुस्लिम पक्ष का प्रति उत्तर सुनने के बाद ही फैसला सुनाएगी। इसके लिए 11 अक्टूबर की तारीख तय की है। एक बार फिर दोनों पक्ष अपना दिल थाम कर बैठ गए हैं कि, कोर्ट क्या फैसला करती है।
यह भी पढ़े – ज्ञानवापी मस्जिद फैसला : पूरे यूपी में अलर्ट जारी, निगरानी में सोशल मीडिया भी दो प्रार्थना पत्र पर फ़ास्ट ट्रैक कोर्ट करेगी 11 अक्तूबर को सुनवाई एक अन्य मामले में सिविल जज फास्ट ट्रैक कोर्ट सीनियर डिवीजन महेंद्र कुमार पांडेय की कोर्ट में ज्ञानवापी प्रकरण के दो प्रार्थनों पर सुनवाई टल गई है। गुरुवार को ही प्रार्थनों पत्रों पर सुनवाई होनी थी। मगर भरत मिलाप की लोकल छुट्टी से कचहरी में अवकाश होने के कारण शुक्रवार को कोर्ट खुलने पर सुनवाई की तारीख लगी। मगर शुक्रवार को भी अदालत की पीठासीन अधिकारी अवकाश पर होने के कारण सुनवाई नही हो सकी। इस मामले में अगली सुनवाई अब 11 अक्तूबर को होगी।
अगली सुनवाई तीन नवंबर को होगी इसके साथ ही ज्ञानवापी परिसर में मिले कथित शिवलिंग के पूजा-पाठ राग-भोग आरती करने की मांग लेकर शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती की ओर से सिविल जज सीनियर डिविजन कुमुदलता त्रिपाठी की अदालत में दाखिल अर्जी पर भी सुनवाई टल गई। इस कोर्ट के भी पीठासीन अधिकारी अवकाश पर होने के कारण ही सुनवाई नही हुई। इस मामले के लिए अगली सुनवाई तीन नवंबर को होगी।