उज्जैन

एमपी में जमीनों का खेल, ‘किसानों’ की जगह ‘बिल्डर’ को सौंप डाले अधिकार पत्र !

mp news: प्राधिकरण द्वारा अधिग्रहित की जाने वाली जमीन के भूस्वामी के रूप में एक पत्र संबंधित पत्र किसान को दिया जाता है।

उज्जैनJan 08, 2025 / 05:34 pm

Astha Awasthi

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mp news: मध्यप्रदेश में उज्जैन विकास प्राधिकरण की लालपुर में टीडीएस 3 योजनाओं में जमीनों का खेल शुरू हो गया है। यूडीए में गत दिनों एक बिल्डर को 13 से ज्यादा अधिकार पत्र सौंप दिए जबकि यह पत्र भू-स्वामी किसानों को दिए जाने थे। मामले का खुलासा होने पर यूडीए में हडक़ंप मचा और सीईओ को अधिकार पत्र वापस लेने के लिए एफआइआर कराने का कहना पड़ा। इसके बाद बिल्डर ने यूडीए पहुंचकर अनाधिकृत तरीके से मिले अधिकार पत्र वापस लौटाए।
प्राधिकरण की ओर से देवासरोड पर लालपुर, नीमनवासा, कोठी महल क्षेत्र में टीडीएस-3 और टीडीएस-4 आवासीय योजना लांच की है। दोनों योजनाओं में करीब 250 हैक्टेयर जमीन कॉलोनी विकसित की जा रही है। यूडीए की इन योजनाओं की जमीन पर कॉलोनाइजर, इंवेस्टर और बिल्डरों की नजर पड़ गई है। गत दिनों प्राधिकरण से कॉलोनाइजर संजय पंड्या को टीडीएस 3 योजना में करीब 13 से भूमि से जुड़े अधिकार पत्र सौंप दिए थे। नियमानुसार यह पत्र भू-स्वामी किसानों के नाम से देने थे।

अपने नाम पर ले रहे अधिकार पत्र

दरअसल, योजनाओं में शामिल हो रही किसानों की जमीनों को बिल्डर और कॉलोनाइजर ने सौदे कर लिए हैं। ऐसे में बिल्डर अपने प्रभाव से यूडीए से सीधे अपने नाम पर अधिकार पत्र ले रहे हैं। बिल्डर संजीव पंडया का मामला सामने आने पर सीईओ संदीप सोनी ने इन्हें वापस करने की चेतावनी दी। इसके लिए एफआइआर करने तक के लिए कहा गया। मामला बिगडऩे पर बिल्डर पंडया ने यूडीए पहुंचकर सारे अधिकार पत्र लौटा दिए।

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यह है अधिकार पत्र

प्राधिकरण द्वारा अधिग्रहित की जाने वाली जमीन के भूस्वामी के रूप में एक पत्र संबंधित पत्र किसान को दिया जाता है। इसमें भूमि स्वामी का नाम, भूमि का सर्वे और खसरा नंबर सहित उसकी पैमाइश की जानकारी रहती है। इसी अधिकार पत्र के माध्यम से ही किसान भूमि पर अपना दावा रखता है। योजना के मुताबिक उसके लाभ दिया जाता है।

निवेशकों की अभी से नजर

यूडीए द्वारा टीडीएस-3 व 4 में वर्तमान में धरातल स्तर पर होकर यहां सड़क और सीवरेज लाइन डलने जैसे काम हो रहे हैं। इस बीच योजना में आ रही किसानों की जमीनों को निवेशक खरीद रहे हैं। किसानों से एग्रीमेंट किया जा रहा है। कुछ में पूरी जमीन खरीदने तो कुछ में विकसित भूमि मिलने के बाद प्लॉट और भवन बनाकर बेचने जैसे करार हो रहे है। चूंकि अभी आवासीय योजना प्रारंभिक स्तर पर हैं, ऐसे में सस्ते दामों में जमीन के सौदे हो रहे हैं, जब कॉलोनी विकसित हो जाएगी तो जमीन की कीमत दो से तीन गुना तक बढ़ जाएगी। ऐसे में खासा मुनाफा होगा।

जमा करा लिए पत्र

टीडीएस-3 योजना में पूर्व में एक बिल्डर को करीब 13 अधिकार पत्र दे दिए गए थे। उससे वापस अधिकार पत्र जमा करवा लिए गए हैं।- राकेश गुप्ता, कार्यपालन यंत्री

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