इंदौर उज्जैन मेट्रो के लिए दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) द्वारा सर्वे पूर्ण कर रुट एलायमेंट तय कर लिया गया है। निर्धारित एलायमेंट के अनुसार प्रोजेक्ट में कुल 10 स्टेशन बनाए जाएंगे। मेट्रो इंदौर के लवकुश चौराहे से उज्जैन के महाकाल लोक तक कुल 47 किमी चलेगी। दोनों शहरों के बीच हाइब्रिड मोड मेट्रो चलेगी। डीएमआरसी जल्द ही मप्र मेट्रो रेल कारपोरेशन को डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट यानि डीपीआर प्रस्तुत करेगी।
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इंदौर उज्जैन मेट्रो का लाभ यात्रियों को सिंहस्थ 2028 के बाद ही मिल पाएगा। दरअसल इसके लिए बजट की कमी आडे आ रही है। प्रोजेक्ट करीब 10 हजार करोड़ रुपए का है जिसे जुटाना राज्य सरकार के लिए टेढ़ी खीर साबित हो रहा है। ऐसे में सिंहस्थ के पहले प्रोजेक्ट पूरा होना मुश्किल लग रहा है।
इंदौर उज्जैन मेट्रो का लाभ यात्रियों को सिंहस्थ 2028 के बाद ही मिल पाएगा। दरअसल इसके लिए बजट की कमी आडे आ रही है। प्रोजेक्ट करीब 10 हजार करोड़ रुपए का है जिसे जुटाना राज्य सरकार के लिए टेढ़ी खीर साबित हो रहा है। ऐसे में सिंहस्थ के पहले प्रोजेक्ट पूरा होना मुश्किल लग रहा है।
2028 में उज्जैन में होने वाले सिंहस्थ से पहले प्रोजेक्ट पूरा नहीं होने की स्थिति में रेल मार्ग से इंदौर से उज्जैन जाने के लिए अन्य ट्रेनों के अलावा यात्रियों के लिए वंदे मेट्रो ट्रेन का विकल्प भी रहेगा। बता दें कि रेल मंत्रालय इंदौर से उज्जैन वंदे मेट्रो ट्रेन चलाने पर सहमति दे चुका है।
मेट्रो प्रोजेक्ट से संबंधित अधिकारियों के अनुसार दो शहरों के मध्य रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम आरआरटीएस में मेट्रो अधिकतम 135 किमी प्रति घंटा की स्पीड से चल सकती है। इंदौर उज्जैन मेट्रो भी इसी गति से चलेगी।