उदयपुर

भीलूराणा की प्रतिमा के समीप केसरिया झण्डा लगाने के बाद गर्माया माहौल

– दो पक्ष आपस में भिड़े, ग्रामीण विधायक पर उकसाने का एक पक्ष ने लगाया आरोप
-विधायक बोले बेबुनियाद व गलत आरोप- करीब ढाई घंटा चला हंगामा

उदयपुरAug 10, 2021 / 06:09 pm

bhuvanesh pandya

भीलूराणा की प्रतिमा के समीप केसरिया झण्डा लगाने के बाद गर्माया माहौल

भुवनेश पंड्या
उदयपुर. विश्व आदिवासी दिवस पर सोमवार सुबह करीब दस बजे रेती स्टैंड स्थित भीलूराणा की प्रतिमा के समीप कुछ आदिवासी कार्यकर्ताओं द्वारा केसिरया झंडा लगाने के बाद माहौल गर्मा गया। यहां एक अन्य पक्ष के लोग जो खुद को अखिल भारतीय आदिवासी महासभा का कार्यकर्ता बता रहे थे, अपना सफेद झंडा लगाने पहुंचे थे, लेकिन वहां पहले से ही केसरिया झंडा लगा हुआ था। ऐसे में महासभा के कार्यकर्ताओं ने इसका विरोध जताते हुए इसे भाजपा का भगवा झंडा बताया और उसे तत्काल हटाने की बात कही। जैसे ही एक पक्ष के कार्यकर्ता प्रतिमा के समक्ष झण्डा हटाने पहुंचे तो यहां सामने वाले पक्ष ने विरोध जताया। इसी बीच कई बार कई कार्यकर्ताओं के आपस में हाथापाई व मारपीट के हालात बन गए। मामला बढ़ता देख यहां हिरणमगरी व सवीना थाने का भारी पुलिस बल पहुंच गया। पुलिसकर्मियों ने बीच बचाव का प्रयास किया, लेकिन कई बार दोनों पक्ष आपस में बहस करते हुए उलझते दिखे। पुलिस को दबाव बनाकर मौजूद भीड़ को तितर बितर करना पड़ा। कई बार दोनों पक्ष झण्डा हटाने का प्रयास कर आमने-सामने हो गए। पुलिस ने मामला संभाला। इसके बाद यहां एडीएम (सिटी) अशोककुमार भी मौके पर पहुंचे।
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झंडा हटाकर फेंकने के बाद हुआ विवाद
यहां से झंडा हटाकर फेंकने के दौरान विवाद बढ़ गया। यहां राणा पूंजा जयन्ती समारोह समिति के अध्यक्ष व पूर्व पार्षद भैरूलाल मीणा ने बताया कि कुछ बीटीपी कार्यकर्ता यहां पहुंच गए थे। वे बेवजह विरोध कर बहस कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राणा पूंजा की प्रतिमा पर वहीं झंडा लगाया गया, जो हर वर्ष लगाया जाता है, जो लोग यहां विरोध करने आए वह खुद के हिन्दू नहीं होने की बात कह रहे थे। उन्होंने बताया कि झण्डे पर जय मेवाड़ व जय भीलूराणा लिखा हुआ है। वह केसरिया ध्वज है, लेकिन किसी पार्टी का नहीं है। मीणा ने बताया कि कु छ कार्यकर्ताओं ने उन्हें भी जान से मारने की धमकी दी है और उनके कार्यकर्ताओं के साथ धक्का मुक्की की है। उन्होंने भी इसकी रिपोर्ट हिरणमगरी थाने में दी है। मीणा ने बताया कि उनके साथ भील विकास समिति के देवीलाल दाणा भी मौजूद थे।
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कुछ देर के लिए पहुंचे थे विधायक

विधायक फूलसिंह मीणा भी यहां भीलूराणा की प्रतिमा पर पुष्पहार पहनाने गए थे। लेकिन विवाद उपजने से पहले ही वह थोड़ी देर में वहां से रवाना हो गए। आदिवासी महासभा के संगठन मंत्री सुरेश मीणा ने ग्रामीण विधायक मीणा पर लोगों को मारपीट के लिए उकसाने का आरोप लगाया। मामले में विधायक ने आरोप को बेबुनियाद बताया।
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दर्ज करवाया मामला
हिरणमगरी थानाधिकारी रामसुमेर मीणा ने बताया कि आवरी माता निवासी ठाकुर चन्द्र भगोरा ने अज्ञात लोगों ने खिलाफ मारपीट का मामला दर्ज करवाया है। मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
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अखिल भारतीय आदिवासी महासभा के संगठन मंत्री सुरेश मीणा ने आरोप लगाया कि उनके साथ आरएसएस व भाजपा के लोगों पर मारपीट की है। मीणा ने बताया कि उन्होंने विरोध जताया था कि सोमवार को आदिवासी दिवस है, इसलिए यहां आदिवासियों का झण्डा होना चाहिए, ये मत लगाओ। उन्होंने बताया कि उनका झंडा सफेद रंग का है, जिस पर चांद तारे व फूल पत्तियां है। भगवा झंडा लगाया है जो पूरी तरह उनका है। उन्होंने पूर्व पार्षद भैरूलाल मीणा व नेला सरपंच बताते हुए ईश्वर पर मारपीट का आरोप लगाया है। मामले में विरोध करने के पक्ष के साथ पहुंची बसन्ती तावड़ ने बताया कि लोगों ने उनके साथियों के साथ मारपीट की है। एक साथी को तो हॉस्पिटल में भर्ती करना पड़ा।
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जयमेवाड़ संगठन के नाम से झंडा लगाकर की मारपीट

अखिल भारतीय आदिवासी महासभा के प्रदेशाध्यक्ष घनश्यामसिंह तावड़ ने आरोप लगाया कि बीजेपी, आरएसएस व अन्य हिन्दूवादी संगठन के लोग षड्यंत्र कर आए और भीलूराणा मूर्ति पर जय मेवाड़ संगठन के नाम से झंडा लगा दिया। जिस पर आदिवासी समाज के लोगो ने विरोध किया। हर साल हमारा आदिवासी दिवस का त्यौहार मनाते हैं उक्त झंडा आदिवासी परम्परा और संस्कृति के खिलाफ हैं, जो हमारे आदिवासी समाज की धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं। तावड़ ने उदयपुर विधायक फू ल सिंह मीणा पर आरोप लगाया कि उनकी मौजूदगी में भाजपा पूर्व पार्षद भेरूलाल मीणा व अन्य साथियों ने अखिल भारतीय आदिवासी महासभा के महासचिव सुरेश मीणा व संगठन के अन्य सदस्यों पर जानलेवा मारपीट की है, जिसकी एफ आईआर हिरण मगरी पुलिस थाने में दर्ज करवाई गई है। तावड़ ने बताया कि आरएसएस व बीजेपी के दबाव में पुलिस ने सुरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया था, जिसे बाद में विरोध पर छोड़ा गया। तावड़ ने बताया कि आदिवासी समाज की लडकी पर हिरणमगरी थानाधिकारी रामसुमेर मीणा ने डंडे बरसाए। मीणा को हटाने की मांग की गई है।

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