शहर में अचानक बिजली बंद होने से जहां लोग गर्मी से बेहाल हो गए, वहीं छोटे-बड़े कारखाने आदि पूरी तरह से ठप हो गए। शहर के अस्पताल और आपातकालीन सेवाओं वाले संस्थानों में जनरेटर सेट से काम चलाया गया। जहां कहीं आपातकालीन व्यवस्था नहीं थी, वहां परेशानी हुई। घटना को लेकर विद्युत निगम के इंजीनियरों में अफरातफरी मच गई। सबडिवीजन दफ्तरों से लेकर निगम मुख्यालय तक फोन घनघना उठे। सब यह जानने की जुगत में थे कि पूरा उदयपुर ब्लैकआउट क्यों हुआ। आखिर ग्रामीण क्षेत्रों में जाने वाली लाइनों को रोककर पहले शहर की बिजली बहाल की गई। शहर में भी आपात स्थिति वाले क्षेत्रों में पहले बिजली बहाल कराई गई। फिर एक के बाद एक क्षेत्रों में बिजली आई। इस दौरान भी लुकाछिपी का खेल करीब दो-तीन घंटे तक चलता रहा। ग्रामीण क्षेत्रों में धीरे-धीरे बिजली बहाल की गई। सराड़ा, खेरवाड़ा सहित कुछ हिस्सों में तो शाम तक भी बिजली चालू नहीं हो पाई।
अंबेरी व देबारी पर टिका है तंत्र
उदयपुर जिले में विद्युत आपूर्ति का तंत्र देबारी और अंबेरी स्थित 220 किलोवॉट जीएसएस पर टिका हुआ है। विद्युत भार बढऩे पर पावर ग्रिड कॉरपोरेशन की लाइन ट्रिप हो गई। ऐसे में अंबेरी जीएसएस पूरी तरह से ठप हो गया। ऐसे में जिलेभर का विद्युत भार देबारी जीएसएस पर आ गया। कुछ ही पल में देबारी जीएसएस भी ठप हो गया।
उदयपुर जिले में विद्युत आपूर्ति का तंत्र देबारी और अंबेरी स्थित 220 किलोवॉट जीएसएस पर टिका हुआ है। विद्युत भार बढऩे पर पावर ग्रिड कॉरपोरेशन की लाइन ट्रिप हो गई। ऐसे में अंबेरी जीएसएस पूरी तरह से ठप हो गया। ऐसे में जिलेभर का विद्युत भार देबारी जीएसएस पर आ गया। कुछ ही पल में देबारी जीएसएस भी ठप हो गया।
इस तरह रही स्थिति
दोपहर 11.55 बजे ठप हुआ तंत्र दोपहर 12.30 बजे चुनिंदा क्षेत्रों में बिजली आई
दोपहर 01.00 बजे शहर में बहाल हुई बिजली दोपहर 03.00 बजे तक 70 प्रतिशत बहाली
शाम 05.00 बजे तक बहाल हुई जिले की बिजली
बिजली भार इस तरह
दोपहर 11.55 बजे ठप हुआ तंत्र दोपहर 12.30 बजे चुनिंदा क्षेत्रों में बिजली आई
दोपहर 01.00 बजे शहर में बहाल हुई बिजली दोपहर 03.00 बजे तक 70 प्रतिशत बहाली
शाम 05.00 बजे तक बहाल हुई जिले की बिजली
बिजली भार इस तरह
200 : मेगावाट शहर का विद्युत भार
250 : मेगावाट जिले का विद्युत भार 260 : मेगावाट हुआ मंगलवार को
इनका कहना है बरसात नहीं होने से कृषि बिजली का उपयोग बढ़ गया है। इससे मंगलवार को अचानक विद्युत भार बढ़ जाने से ग्रिड ट्रिप हो गया। एक जीएसएस के बंद होने से सारा भार दूसरे पर आ गया। ऐसे में दोनों जीएसएस बंद हो गए। इमरजेंसी सेवाओं के लिए पहले बिजली चालू कर दी गई। इसके बाद शाम तक जिलेभर में बहाल हुई।
गिरीश कुमार जोशी, एसई, उदयपुर सर्कल
अचानक बिजली भार बढऩे से समस्या आई। हालांकि जल्द ही स्थिति संभाल ली गई। शहर आधे घंटे बाद ही पुन: बिजली बहाल होने की प्रक्रिया शुरू हो गई, जो एक घंटे में पूरे शहर में बिजली सुचारू हो गई। संभवतया कृषि बिजली का उपयोग बढऩे के कारण सिस्टम पर लोड बढ़ा और क्षमता से अधिक होने पर ट्रिप हो गया।
250 : मेगावाट जिले का विद्युत भार 260 : मेगावाट हुआ मंगलवार को
इनका कहना है बरसात नहीं होने से कृषि बिजली का उपयोग बढ़ गया है। इससे मंगलवार को अचानक विद्युत भार बढ़ जाने से ग्रिड ट्रिप हो गया। एक जीएसएस के बंद होने से सारा भार दूसरे पर आ गया। ऐसे में दोनों जीएसएस बंद हो गए। इमरजेंसी सेवाओं के लिए पहले बिजली चालू कर दी गई। इसके बाद शाम तक जिलेभर में बहाल हुई।
गिरीश कुमार जोशी, एसई, उदयपुर सर्कल
अचानक बिजली भार बढऩे से समस्या आई। हालांकि जल्द ही स्थिति संभाल ली गई। शहर आधे घंटे बाद ही पुन: बिजली बहाल होने की प्रक्रिया शुरू हो गई, जो एक घंटे में पूरे शहर में बिजली सुचारू हो गई। संभवतया कृषि बिजली का उपयोग बढऩे के कारण सिस्टम पर लोड बढ़ा और क्षमता से अधिक होने पर ट्रिप हो गया।
श्याम माली, एइएन (एफआईएस), एवीवीएनएल