उदयपुर/ गोगुंदा.
Revenue Department सायरा ग्राम पंचायत ( Saira Gram Panchayat ) की गर्ग बस्ती की दस्तावेज में हुई गलत तरमीम से पूरी बस्ती पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। बस्ती के बाशिंदों की मानें तो वर्ष 2013 में बस्ती की जमीन को आबादी में परिवर्तित कराया गया था, लेकिन तकनीकी खामी के बीच राजस्व विभाग ने गलत तरमीम कर दी। इसके चलते बस्ती के पीछे की जमीन आबादी में परिवर्तित हो गई। पेंच यह है कि वर्ष २०१५ में वर्तमान बस्ती और सरकारी खाते में बोल रही सरकारी जमीन को रिकॉर्ड में कार्य विशेष के लिए आरक्षित किया जा चुका है। ऐसे में लोगों की चिंता इस बात को लेकर बढ़ गई है कि राजस्व विभाग की गलती का खमियाजा अशियाना छोड़कर तो नहीं चुकाना होगा।
गर्ग बस्ती के जगदीश गर्ग ने बताया की ग्राम पंचायत सायरा खसरा संख्या 1301 में ४ हजार हैक्टेयर जमीन ग्राम पंचायत के प्रस्ताव के बाद 17 सितम्बर 2013 को आबादी में बदलाई गई थी। लेकिन, राजस्व विभाग ने बस्ती के बने मकान के पीछे पड़ी खाली जमीन की नक्शे मे तरमीम कर दी। लोगों का आरोप है कि प्रस्ताव के समय आबादी बस्ती का नक्शा भी दिया गया था, जिसे नजरंदाज कर विभाग ने दूसरी जमीन की तरमीम कर दी। समस्या को लेकर बस्तीवासी कई बार स्थानीय एसडीओ और जिला कलक्टर से गुहार लगा चुके हैं, लेकिन उनकी कोई सुनने को तैयार नहीं है।
होगी उचित कार्रवाई
मामले में स्थानीय पटवारी से पूरी जानकारी ली जा रही है। Revenue department इसके बाद उचित कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
विमलेन्द्रसिंह राणावत, तहसीलदार, गोगुंदा ।
Hindi News / Udaipur / 2013 में बसी इस बस्ती के भविष्य पर संकट के बादल, चिंता गहराई कहां जाएंगे, कहां बसेंगे