—– ऐसे शुरू हुआ काम … – आयुर्वेद विभाग की ओर से कोविड-19 के लिए कोरोना रोगियों पर औषधि परीक्षण पर टिप्पणी मांगी गई है। इसमें जन स्वास्थ्य एवं चिकित्सा सेवाओं के निदेशक ने एसएमएस मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य को पत्र लिखा है कि राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान के कोविड-19 के संदिग्धों व कोरोना पॉजिटिव रोगियों पर औषधि परीक्षण, उपयोगिता की स्वीकृति से संबंधित प्राप्त प्रस्ताव के आधार पर टिप्पणी मांगी है। इसमें उल्लेख है कि एसएमएस मेडिकल कॉलेज जयपुर में गठित एथिक्स कमेटी व क्लीनिकल ट्रायल स्क्रीनिंग कमेटी से विशेष टिप्पणी मांगी गई है।
—— शासन सचिव ने लिखा पत्र शासन सचिव गायत्री राठौड़ ने पत्र जारी किया था, इसमें उल्लेख है कि कोविड-19 के संदिग्धों व कोरोना पोजिटिव रोगियों पर औषधि परीक्षण की स्वीकृति दी जाए, इसमें राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान आयुष मंत्रालय केन्द्र सरकार का स्ववित्तपोषित निकाय, जयपुर की ओर से कोविड 19 के संदिग्धों व कोरोना पॉजिटिव रोगियों पर औषधि परीक्षण व उपयोकिगता की स्वीकृति के लिए दो प्रस्ताव विभाग को भेजे गए हैं, यह परीक्षण प्रक्रिया से संबंधित व्यक्तियों, मरीजों को सभी औषधियां राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान द्वारा दी जाएगी। प्रस्ताव में जयपुर स्थित क्वारंटीन सेंटरर्स के 500 नागरिकों व कोविड 19 के 200 मरीजों पर औषधि उपयोगिता की स्वीकृति प्रदान की जानी अपेक्षित है। यह प्रस्ताव आयुर्वेद विषयक अनुसंधान व शास्त्रीय विवेचना के अनुरूप है। राठौड़ ने अनुरोध किया है कि अनुमोदन एसएमएस हॉस्पिटल जयपुर की एथिक्स कमेटी व क्लीनिकल ट्रायल स्क्रीनिंग कमेटी से करवाया जाए। अनुसंधान के सभी डेटा प्रकाशन सरकार के सहयोग से किया जाएगा। इसमें सभी औषधियां, मानव संसाधन, परीक्षण का दायित्व राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान का रहेगा।
—– नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ आयुर्वेद के निदेशक प्रो संजीव शर्मा ने गत दिनों आयुर्वेद सचिव राज्य सरकार को पत्र लिखकर मरीजों पर औषध परीक्षण की अनुमति मांगी थी। उन्होंने इसके लिए 500 क्वारंटीन व 400 पॉजिटिव मरीजों पर परीक्षण की अनुमति मांगी थी। —
– जनपदोध्वंस – प्राणवहस्रोतोदुष्टि – रक्तवहस्रोतादुष्टि – प्रधानिक करना – वातोल्वना सन्निपतिक ज्वारा – राजयक्षमा —– औषध कोम्बिनेशनसमशमनी वटी – 250 एमजी, दो टेबलेट दिन में दो बार च्यवनप्राश अवलेह
– 20 ग्राम दिन में दो बार गोजिह्ववदी क्वाथ- 30 एमएल, दिन में दो बार —— हां राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान आयुष मंत्रालय की ओर से राज्य सरकार से औषधियों के ट्रायल की अनुमति मांगी गई थी, संकेत मिले है कि ट्रायल की अनुमति मिल चुकी है, यदि ये सफलता मिलती है तो यह किसी बड़ी उपलब्धि से कम नहीं है, इससे मरीजों को बेहद लाभ होगा।
वैध शौभालाल औदिच्य, वरिष्ठ आयुर्वेद चिकित्साधिकारी