जानकारी के मुताबिक, श्रीरामराजा सरकार के दर्शन करने के लिए कविता अपने तीन बच्चों और परिवार के साथ ओरछा पहुंची। जिसके बाद पता चला कि मंदिर रात को 8 बजे खुलेगा। इसके लिए सभी लोग बेतवा नदी के कंचना घाट पहुंच गए। यहां पर सभी लोग सीढ़ियों पर बैठे हुए थे। तभी कविता नदी के किनारे पैर-हाथ धोने गई थी। तभी अचानक उसका पैर फिसल गया। जिससे वह पानी के तेज बहाव में बह गई।
दो घंटे की मशक्कत के बाद मिला शव
कविता के जेठ और सास ने चीख-पुकार मचा दी। जिसके बाद वहां मौजूद चौकी प्रभारी रामनिवास गोस्वामी को दी गई। जानकारी लगते ही प्लाटून कमांडर पीयूष शर्मा को महिला के डूबने की जानकारी दी गई। इसके बाद एसडीआरएफ के जवानों ने रेस्कयू टीम को रवाना किया। रेस्कयू टीम ने मोटर बोट की मदद से महिला को ढूंढने की मशक्कत की। हालांकि, दो घंटों की मशक्कत के बाद महिला का शव टीम को मिल गया। शव को बाहर निकलकर ओरछा पुलिस को सौंपा गया है। ओरछा पुलिस ने मर्ग कायम कर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।