टीकमगढ़. जिले की ग्राम पंचायतों में स्वच्छता को लेकर घोर लापरवाही बरती जा रही है और इसको लेकर अधिकारी भी सक्रीय नहीं है। हालात है कि सडक़ किनारे और गांवों के छोर पर कचरे के ढेर होने पर भी नजरअंदाज कर रहे है। जबकि स्वच्छ भारत मिशन ने ब्लॉक, ग्राम पंचायत स्तर पर ६७ स्वच्छताग्राही और १९७ प्रेरक स्वच्छता की जिम्मेदारी निभा रहे है। लेकिन जमीनी स्तर पर दिखाई नहीं दे रही है।
गांवों को साफ स्वच्छ बनाने के लिए शासन स्तर से लाखों रुपए खर्च किए गए है। समय-समय पर विशेष अभियान चलाकर सफ ाई कराने जागरूक किया गया, लेकिन इसके बाद भी ग्रामीण क्षेत्र के हाल में सुधार नहीं आ रहा है। गांवों में कुछ समय पहले कचरा घर बनवाए गए थे और लोगों से उनमें कचरा डालने के लिए अपील की थी। लेकिन कई स्थानों में कचरे से भरने के बाद वहां से कचरा नहीं उठाया गया है। जिससे लोग आसपास की कचरा फेंक रहे है। इसके साथ ही कई ग्राम पंचायत में साफ. सफ ाई नहीं होने से कई बस्तियों में जगह जगह गंदगी के अंबार लगे है। अगर आंकड़ों की बात की जाए तो स्वच्छता में सबसे पीछे जनपद पंचायत बल्देवगढ़ दिखाई दे रही है।
गांवों को साफ स्वच्छ बनाने के लिए शासन स्तर से लाखों रुपए खर्च किए गए है। समय-समय पर विशेष अभियान चलाकर सफ ाई कराने जागरूक किया गया, लेकिन इसके बाद भी ग्रामीण क्षेत्र के हाल में सुधार नहीं आ रहा है। गांवों में कुछ समय पहले कचरा घर बनवाए गए थे और लोगों से उनमें कचरा डालने के लिए अपील की थी। लेकिन कई स्थानों में कचरे से भरने के बाद वहां से कचरा नहीं उठाया गया है। जिससे लोग आसपास की कचरा फेंक रहे है। इसके साथ ही कई ग्राम पंचायत में साफ. सफ ाई नहीं होने से कई बस्तियों में जगह जगह गंदगी के अंबार लगे है। अगर आंकड़ों की बात की जाए तो स्वच्छता में सबसे पीछे जनपद पंचायत बल्देवगढ़ दिखाई दे रही है।
सभी ग्राम पंचायतें बन गई ओडीएफ
जिले की सभी जनपद पंचायतों ने ग्राम पंचायत को ओडीफ घोषित कर दिया है। ग्राम पंचायत ने अधिकारियों की मौजूदगी में स्वच्छता के तहत कार्यक्रम किए गए है। उसके बाद अधिकारी और कर्मचारी स्वच्छता की जानकारी लेने तक नहीं पहुंचे है। इस दौरान बौरी, गनेशगंज, पठा, सुंदरपुर, समर्रा, मातौली, माडूमर, बकपुरा, नैनवारी, अजनौर, सापौन, गुदनवारा, राधापुर, मवई, धजरई, पपावनी, गोर, नादिया सहित कई गांवों में स्वच्छता बदहाल हो गई है।
जिले की सभी जनपद पंचायतों ने ग्राम पंचायत को ओडीफ घोषित कर दिया है। ग्राम पंचायत ने अधिकारियों की मौजूदगी में स्वच्छता के तहत कार्यक्रम किए गए है। उसके बाद अधिकारी और कर्मचारी स्वच्छता की जानकारी लेने तक नहीं पहुंचे है। इस दौरान बौरी, गनेशगंज, पठा, सुंदरपुर, समर्रा, मातौली, माडूमर, बकपुरा, नैनवारी, अजनौर, सापौन, गुदनवारा, राधापुर, मवई, धजरई, पपावनी, गोर, नादिया सहित कई गांवों में स्वच्छता बदहाल हो गई है।
फैक्ट फाइल
जिले की ग्राम पंचायतें-३३५
जिले में स्वच्छता ग्राहियों की संख्या-६७
सक्रिय स्वच्छताग्राही प्रेरकों को आवंटित ग्राम पंचायत-१९७
स्वच्छताग्राही सेवा अभियान शुभारंभ के सहयोगी-२२०
स्वच्छता शपथ और हस्ताक्षर अभियान-२२९
स्वच्छता संवाद-४९७
स्वच्छता रैली-११३
संससाध शौचालय के उपयोग और अपशिष्टि प्रबंधन पर कार्यशाला-११९
स्रोम पर कचरा पृथक्करण पर डेमों और मोहल्ला सभा-११५
जिले की ग्राम पंचायतें-३३५
जिले में स्वच्छता ग्राहियों की संख्या-६७
सक्रिय स्वच्छताग्राही प्रेरकों को आवंटित ग्राम पंचायत-१९७
स्वच्छताग्राही सेवा अभियान शुभारंभ के सहयोगी-२२०
स्वच्छता शपथ और हस्ताक्षर अभियान-२२९
स्वच्छता संवाद-४९७
स्वच्छता रैली-११३
संससाध शौचालय के उपयोग और अपशिष्टि प्रबंधन पर कार्यशाला-११९
स्रोम पर कचरा पृथक्करण पर डेमों और मोहल्ला सभा-११५