मृतका के पिता सज्जाद ने आरोप लगाया कि उनकी बेटी को मदरसे (Madarsa) से जुड़े लोगों द्वारा प्रताडि़त किया जा रहा था। इसकी शिकायत उन्होंने मदरसा कमेटी व हॉस्टल प्रबंधन (Hostel Administration) से की थी, तब माफीनामा कराकर मामला शांत करा दिया गया।
उन्होंने कहा कि यदि इस दौरान ही मुकम्मल कार्रवाई की गई होती तो आज उनकी बेटी जिंदा होती। भवराही में जामिया गुलशाने नाम के हॉस्टल में छात्रा और उसकी बहन तालीम हासिल कर रही थीं। परिजन के हंगामे के कारण शव को करीब 7 घंटे बाद सूरजपुर जिला अस्पताल पीएम हेतु ले जाया गया।
बेटी से फोन पर हुई थी बात
मृतका के पिता सज्जाद ने बताया कि रविवार को ही उन्होंने अपनी पुत्री से बात की थी। उन्होंने कहा कि उनकी बेटी ऐसा कदम उठा ही नहीं सकती, उसे मारकर फांसी में लटकाया गया है।
इसकी बारीकी से जांच होनी चाहिए और दोषियों पर मुकम्मल कार्रवाई हो जिससे किसी और की बेटी के साथ ऐसा हादसा न हो। इधरबसदेई पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है।