चावल घोटाले पर मंत्री से लेकर अधिकारी तक की आँखे बंद, राज्योत्सव में हुआ था 108 क्विंटल का घपला
घर के बाहर एक रात में इतना ज्यादा पानी देखकर रहवासी दहशत में आ गए। स्कूलों के लिए जिला प्रशासन ने छुट्टी की घोषणा कर दी थी। तो वहीं इन कॉलोनियों में रहने वाले बड़ों ने घर में पानी भरने की वजह से ऑफिस नहीं जाना ही मुनासिब समझा। पार्किंग में भी आधी गाडिय़ां डूब चुकी थीं। इसी तरह के हालात इस कॉलोनी से लगे स्टेट बैंक कॉलोनी और सन सिटी में भी दिखाई दिए। शहर में 24 घंटे की बारिश ने ड्रेनेज सिस्टम की पोल भी खोल दी। शहर के मुख्य मार्गों पर पानी भर गया।जान हथेली पर रख बाढ़ से बचने ग्रामीण ऐसे लगा रहे नय्या पार
मेडिकल कॉलेज पहुंचना हो गया मुश्किल, मरीज परेशान
पंडरीपानी से आगे बढऩे पर डिमरापाल मेडिकल कॉलेज से पहले खेतों में जमा पानी ओवर फ्लो होने लगा। वहां करीब से एक छोटा नाला भी गुजरता है। इस वजह से पानी सड़क पर आ गया और पूरा रास्ता करीब 4 घंटे के लिए बाधित हो गया। सुबह 8 बजे रास्ता जाम हुआ। दोपहर 12 बजे तक गाडिय़ां आगे नहीं बढ़ीं। महारानी अस्पताल से रेफर मरीजों को एंबुलेंस से मेडिकल कॉलेज नहीं पहुंचाया जा सका। बाइक वाले परपा और पंडरीपानी के अंदर के रास्तों से होते हुए मेडिकल कॉलेज पहुंचे।
रातभर में दर्जनभर से ज्यादा मकान ढहे
रविवार रात बारिश की रफ्तार बढ़ी तो शहर के दर्जनभर से ज्यादा जर्जर और कच्चे मकानों के ढहने की खबर सोमवार सुबह सामने आई। शहर के जैन मंदिर रोड स्थित एक दो मंजिला मकान ढह गया। इसी तरह कुम्हड़ाकोट में एक कच्चे मकान की दीवार ढह गई। इसी तरह कई जगहों पर दर्जनभर से ज्यादा मकान बारिश की वजह से प्रभावित हुए। हालांकि इसमें किसी के हताहत होने की खबर नहीं है।