जालिया के ग्रामीणों का कहना है कि हेवी ब्लास्टिंग से मकानों में दरारे आ रही है। ब्लास्टिंग गांव से कुछ मीटर दूर हो रही है। ग्रामीण रात में नींद नहीं ले पाते हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि सोमवार को ब्लास्टिंग से एक मकान की दीवार गिर गई। इससे दो लोगों के चोट आई। ग्रामीणों ने विरोध में जिंदल कम्पनी में खनन का काम बंद करा दिया व धरना शुरू कर दिया। भीलवाड़ा एसडीएम व पुलिस ने ग्रामीणों से समझाइश की।
पटवारी व गिरदावर से मांगी रिपोर्ट एसडीएम सोमनाथ ने बताया कि पटवारी व गिरदावर को सर्वे के निर्देश दिए। इसमें कितने मकानों में दरार आ रही तथा कितने को नुकसान हुआ, खेतों की स्थिति, ब्लास्टिंग से कितनी दूर पत्थर कर आ रहे हैं आदि का पता किया जा रहा है। इसकी दो दिन में रिपोर्ट मांगी है। ग्रामीणों की स्थानीय समस्या भी है। उसके बारे में जिंदल कम्पनी से भी उनका पक्ष सुना जाएगा। ग्रामीणों ने बताया कि हेवी ब्लास्टिंग कब होती है, इसकी जानकारी नहीं दी जाती है।
बनेड़ा के कई गांव प्रभावित जिंदल के खनन क्षेत्र के कई गांवों के लोग परेशान हैं। बनेड़ा के जालिया, चमनपुरा, देवपुरा, रामपुरिया, रणिकपुरा व छतरीखेड़ा के ग्रामीणों का कहना है कि उनके गांवों की चरागाह जिंदल सॉ लिमिटेड को दे दी गई है। कंपनी बिना बताए ब्लास्टिंग करती है। दो सरकारी स्कूल भी जिंदल को दी भूमि के दायरे में आ रही हैं जिससे जान-माल का नुकसान की आशंका है।
जारी रहेगा धरना माली सैनी महासभा के प्रदेश संगठन मंत्री कन्हैयालाल माली ने बताया कि ब्लास्टिंग से जालियां के देवीलाल माली का मकान गिर गया। बाड़े का िटन शेड भी गिर गया। पशु दब गए। देवीलाल को भी चोट आई, जिसे हॉस्पिटल ले जाया गया। पहले भी मुकेश रेबारी के मकान की दीवार गिर गई थी। ग्रामीणों ने कहा कि ब्लास्टिंग बंद होने तक धरना जारी रहेगा।