सोशल मीडिया में अंकित भादू लॉरेंस बिश्नोई के सोपू गैंग के साथ सुर्खियों में रहा है। सादुलशहर में एक व्यापारी से फिरौती की रकम लेने के दौरान पुलिस से बचकर निकलता तो दो दिन बाद अपने साथियों को संदेश देने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया था। भादू ने अपनी एफबी पर लिखा कि हम तो करम करने निकलते है..कांड तो अपने आप हीो जाता है..। सलाम शहीदा नूं। सोपू ग्रुप। वहीं इसी एफबी पर अपने युवा गुर्गो का संदेश दिया कि ..बड़ा दिल जीतने का मकसद रखो, दुनिया जीतकर तो सिकन्दर भी खाली हाथ ही गया..। इसी तरह एक ओर पोस्ट करते हुए लिखा था कि तुम्हे लगता है कि गलत हूं मैँ….तो सही हो तुम…क्योंकि थोड़ा अलग हूं मैं। वहीं अपने दूसरे एकाउण्ट में पुलिस की जांच टीम का नाम लिए बिना पोस्ट पर लिखा था कि ….मेरा पीछा करने का हौंसला चाहिए…मेरे साथ चलने से तो मेरा साया भी डरता है…….।
इस गैंगस्टर अंकित भादू ने एफबी पर पांच एकाउण्ट बनाए रखे थे, एक का नाम था अंकित भादू शेरेवाला। इस एफबी एकाउण्ट पर दस हजार से अधिक लोग जुड़े हुए थे। इसी तरह दूसरे एफबी एकाउण्ट पर करीब दो हजार और तीसरे में करीब डेढ़ हजार अधिक लोग उसकी एफबी को फोलो करते रहे है। करीब बीस हजार लोगों को अपने सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी बात पहुंचता था। जॉर्डन की हत्या के बाद राजस्थान की एसओजी ने इन एफबी एकाउण्ट को फोलो करने वाले लोगों से पूछताछ की थी ताकि अंकित भादू के बारे में सुराग मिल सके। अंकित भादू अपनी एफबी पर अपने बारे में परिचय देते हुए लिखा है………समाज सेवा विद डिफरेंट स्टाइल।
ज्ञात रहे कि करीब डेढ़ साल पहले सादुलशहर से श्रीगंगानगर आ रहे बाइक सवार इंदिरा कॉलोनी निवासी पंकज सोनी की गोली मार कर हत्या कर दी थी, इस ज्वैलर्स के पास कई तौला सोना और चांदी थी जिसे हमलावर साथ ले गए, इस हत्याकांड में अंकित भादू की भूमिका सामने आई थी। यह मृतक हिन्दुमलकोट और सादुलशहर थाने के सीआई रहे भूपेन्द्र सोनी का भांजा था। पुलिस प्रशासन ने सीआई के भांंजे के कातिलों को पकडऩे के लिए तब आठ विशेष टीमें भी बनाई थी लेकिन गैँगस्टर भादू काबू नहीं आया।
जब तक यह मामला सुलझता उससे पहले 22 मई 2018 को सुबह करीब साढ़े पांच बजे यहां मीरा मार्ग पर मैटालिका जिम में पुरानी आबादी मोहर सिंह चौक निवासी हिस्ट्रीशीटर जॉर्डन उर्फ विनोद चौधरी की हत्या कर दी गई। इस हत्याकांड में भादू की भूमिका सक्रिय रही थी, भादू को पकडऩे के लिए राजस्थान की एसओजी ने दबिश भी दी लेकिन वह काबू नहीं आया। अंकित भादू सादुशलहर में एक व्यापारी से फिरौती की रकम मांगने आया तो हरियाणा के पंचकूला पुलिस की गुप्त सूचना पर श्रीगंगानगर पुलिस ने नुरपुरा गांव के पास नाकाबंदी भी की लेकिन पुलिस दल को देखकर भादू फायरिंग पर उतर आया। इस फायरिंग में सीआई नरेन्द्र पूनियां बाल बाल बच गए लेकिन भादू पुलिस के हाथ से निकल चुका था।
राजस्थान, पंजाब और हरियाणा पुलिस के लिए सिरदर्द बन चुके इस युवा अपराधी को पकडऩे के लिए पिछले दो सालो से पुलिस की अनेक स्पेशल टीमें बनी लेकिन वह बार चकमा देकर भागता रहा और नया अपराध कर अपने भय से डरता रहा। राजस्थान के डीजीपी ने तो चौबीस घंटे पहले इस अपराधी को पकडऩे के लिए एक लाख रुपए का ईनाम देने की घोषणा कर दी थी। पंजाब पुलिस की स्पेशल टीम आर्गेनाइज्ड क्राइम यूनिट (ओकू) ने गुप्त सूचना के आधार पर जीरकपुर में महालक्ष्मी सोसाइटी को घेर लिया।
इस गैंगस्टर ने अपने साथियों के साथ ओकू से करीब ढाई घंटे मुकाबला किया, यहां तक कि फस्र्ट फ्लोर पर आकर एक बच्ची को भी रिवाल्वर दिखाकर बंधक बनाया ताकि पंजाब पुलिस उसे जाने का रास्ता दे सके लेकिन पंजाब की इस स्पेशल टीम के कंमाडो ने उसे पीछे से काबू करने का प्रयास किया। लेकिन वह बच्ची को छोडकऱ अपनी जान बचाने को दौड़ा तो वह लगातार फायरिंग के बीच मारा गया।
श्रीगंगानगर एडिशनल एसपी सुरेन्द्र सिंह ने बताया कि इस स्पेशल टीम का अगुवाई पंजाब के इंस्पेक्टर विक्रमजीत सिंह बराड़ ने की। यह इंस्पेक्टर वही था जिसने पिछले साल यहां हिन्दुमलकोट थाना क्षेत्र में एक ढाणी में लॉरेंस बिश्नोई गैंग के बाएं हाथ माने लाने वाले गैंगेस्टर विक्की गौंंडर, प्रेम लाहौरिया और सुखप्रीत बुड्ढा का एकाउण्टर किया था। इस बीच भादू के मारे जाने की सूचना जैसे ही श्रीगंगानगर पुलिस को मिली तो राहत की सांस ली गई।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुरेन्द्र सिंह ने बताया कि भादू के खिलाफ पिछले साल 22 मई 2018 को मीरा मार्ग पर मैटालिका जिम में पुरानी आबादी के जॉर्डन उर्फ विनोद चौधरी की हत्या का आरोप था। जॉर्डन पर गैंगस्टर संपत नेहरा के साथ भादू ने उस समय हमला किया जब जॉर्डन अपने पुरानी आबादी मोहर सिंह चौक के पास स्थित घर से मीरा मार्ग पर मैटालिका जिम में कसरत करने के लिए आया था। इससे पहले भादू के खिलाफ सादुलशहर से अपने बाइक पर लौट रहे ज्वैल्र्स इंदिरा कॉलोनी निवासी पंकज सोनी की हत्या कर लूटपाट करने का मामला दर्ज हो चुका है।
ज्ञात रहे कि 12 अगस्त 2018 को अंकित भादू ने सादुलशहर में एक व्यापारी से फिरौती की राशि वसूली करने के लिए आया था, इस सूचना के आधार पर हरियाणा और राजस्थान पुलिस की संयुक्त दौरान सादुलशहर के पास नाकेबादी की थी। भादू के सादुलशहर में आने की सूचना पंचकूला पुलिस ने दी थी, इस सूचना के आधार पर नूरपुरा गांव के पास पुलिस दल को देखकर भादू ने करीब चालीस राउण्ड की फायरिंग की थी। इस दौरान भादू एक राहगीर की बाइक लेकर खेतों के रास्तों से पंजाब एरिया में प्रवेश कर गया और वहां से भूमिगत हो गया था। इस गैंगस्टर को पकडऩे के लिए सीआई नरेन्द्र पूनियां सहित कई अधिकारी राजस्थान की एसओजी की टीम के साथ पंजाब में पिछले काफी समय से डेरा डाले हुए थे।
वहीं पिछले साल हुए छात्र संघ चुनाव में गैंगस्टर अंकित भादू की प्रत्याशियों को धमकी भरी कॉल के बाद पुलिस चौकस हो गई थी। इस चुनाव में खासतौर पर एमडी कॉलेज में भादू की धमकी के बाद अधिक निगरानी बरती गई, इस कॉलेज कैम्पस को पुलिस छावनी में तब्दील कर दी थी। इस कारण मतदाताओं ने चुनाव से दूरी बनाई रखी।
भादू को एकाण्टर पंजाब पुलिस के इंस्पेक्टर विक्रमजीत सिंह बराड़ वे है जिहोंने श्रीगंगानगर के हिन्दुमलकोट एरिया में तीन मोस्ट वांटेड को मुठभेड़ में मार गिराया था। 26 जनवरी 2018 को जिले के हिंदुमलकोट थाना इलाके में गांव पक्की के पास पंजाब की स्पेशल टीम ने पंजाब के मोस्ट वांटेड गैंगेस्टर विक्की गौंंडर, प्रेम लाहौरिया और सुखप्रीत बुड्ढा केा मुठभेड़ में मार गिराया था। गौंडर व लाहौरिया मौके पर ही मारे गए जबकि बुड्ढा घायल हुआ। उसे उपचार के लिए अबोहर ले जाते हुए उसने रास्ते में दम तोड़ दिया।
विक्की पर पंजाब पुलिस की ओर से 10 लाख का और प्रेम पर पांच लाख रुपए का इनाम घोषित था।तीनों गैंगस्टर लगभग सवा दो साल पहले नाभा जेल को तोडकऱ फरार हुए थे। पुलिस के अनुसार तीनों गैंगस्टर कोठां पक्की गांव के पास एक ढाणी में ठहरे हुए थे। जानकारी मिलने पर पंजाब पुलिस पीछा करते हुए ढाणी तक पहुंची और इन्हें आत्मसमर्पण करने के लिए कहा। जवाब में इन गैंगस्टर ने पुलिस बल पर फायरिंग शुरू कर दी। दोनों ओर से हुई फायरिंग में गौंडर व लाहौरिया मौके पर ही मारे गए जबकि सुखप्रीत बुड्ढा गंभीर घायल हुआ। उपचार के लिए उसे अबोहर ले जाते समय उसने दम तोड़ दिया।