कश्मीरी केसर की तारीफ तो आपने खूब सुनी होगी, लेकिन इसका स्वाद का मजा अभी तक नहीं ले सके तो अब आपको ज्यादा भागदौड़ नहीं करनी पड़ेगी। शेखावाटी के किसानों ने आपके लिए इसको आसान बना दिया है। कश्मीर की पहचान बनी केसर की खेती अब राजस्थान के सीकर जिले के गांव गणेश्वर में भी लहराने लगी है। यहां की धरा भी केसर की फसल तैयार करने में सक्षम है। अब राजस्थान के लोग भी इसका स्वाद चख सकेंगे। गणेश्वर गांव के किसानों ने अपनी कठिन परिश्रम की बदौलत इसे संभव कर दिखाया है। किसानों ने तीन बीघा में कश्मीरी केसर की खेती की है। फसल तैयार है और किसानों ने अब पत्तियां तोडऩा शुरु कर दिया है। किसान रामेश्वर मीणा, प्रेमचंद वर्मा, बद्री प्रसाद ने साझेदारी में क्षेत्र की धरा पर नई दास्तां की पहल करते हुए अपने खेतों में केसर की फसल तैयार की है। किसान रामेश्वर मीणा ने बताया कि वे कश्मीर से एक किलो बीज लेकर आए थे। इसके बाद कमपोस्ट खाद्य से पांच माह में फसल तैयार हो गई।
फसल के लिए अनुकूल है यहां की धरा
किसानों का कहना है कि कश्मीरी केसर की खेती करने के लिए यहां की धरा अनुकूल है। खेतों की धरा में नमी है जो केसर की फसल के लिए अनुकूल है। किसानों का कहना है कि पर्याप्त मात्रा में पानी होने से केसर की फसल तैयार होती है।
अन्य किसानों को भी करेंगे प्रेरित
कश्मीरी केसर की खेती कर रहे किसानों का कहना है वह अन्य किसानों को भी कश्मीरी खेती करने के लिए प्रेरित करेंगे। इसके लिए वह उनको केसर के बीज उपलब्ध करवाएंगे ताकि वे लोग भी केसर की फसल तैयार कर सके।