scriptVIDEO: रीट परीक्षा से डेढ घंटे पहले पहुंचने पर भी तीन युवतियों की अटकी परीक्षा | Even after reaching one hours before the exam, the examination stuck | Patrika News
सीकर

VIDEO: रीट परीक्षा से डेढ घंटे पहले पहुंचने पर भी तीन युवतियों की अटकी परीक्षा

राजस्थान के सीकर जिले में 232 परीक्षा केंद्रों पर रीट परीक्षा जारी है। दो दिन से शहरभर में दिख रही अभ्यर्थियों की भीड़ अल सुबह से ही परीक्षा केन्द्रों पर केंद्रित होना शुरू हो गई।

सीकरSep 26, 2021 / 12:45 pm

Sachin

VIDEO: रीट परीक्षा से डेढ घंटे पहले पहुंचने पर भी तीन युवतियों की अटकी परीक्षा

VIDEO: रीट परीक्षा से डेढ घंटे पहले पहुंचने पर भी तीन युवतियों की अटकी परीक्षा

सीकर. राजस्थान के सीकर जिले में 232 परीक्षा केंद्रों पर रीट परीक्षा जारी है। दो दिन से शहरभर में दिख रही अभ्यर्थियों की भीड़ अल सुबह से ही परीक्षा केन्द्रों पर केंद्रित होना शुरू हो गई। जो जहां—तहां हाथ में किताब लिए अंतिम तैयारियों में जुटी दिखी। 9 बजते ही अभ्यर्थी परीक्षा केंद्र में प्रवेश के लिए कतार लगाकर खड़े हो गए। जिन्हें प्रवेश पत्र व आधार कार्ड के साथ थर्मल स्क्रिीनिंग से जांच कर भीतर प्रवेश दिया गया। इस दौरान कई युवतियों व महिला अभ्यर्थियों को चुडिय़ों व नाक की नथ की वजह से परीक्षा केंद्र से वापस बाहर भेज दिया गया। जो इन्हें उतारकर परिजनों को सौंपती नजर आई। एसके स्कूल व एसके कॉलेज में परीक्षा केंद्र को लेकर इस दौरान बाहरी जिलों के अभ्यर्थी काफी गफलत में रहे। वे एक दूसरे केंद्र पर दौड़ भाग करते रहे। एसके कॉलेज में भी मुख्य द्वार की बजाय दूसरे द्वार से प्रवेश के फेर में सीकर की प्रियंका, घाणा की कविता व नवलगढ़ की कविता इधर- उधर भटकती रही। जिससे 9 मिनट की देरी होने पर उन्हें परीक्षा से वंचित कर दिया गया। ऐसे में तीनों अभ्यर्थी प्रवेश केंद्र के दरवाजे से काफी देर तक स्टाफ व पुलिसकर्मियों से हाथ जोड़कर गिड़गिड़ाते हुए विनती करती रही। चिल्लाकर रोते हुए दरवाजा पीटने लगी। ये देख उनके साथ आए परिजनों के भी आंसू निकल पड़े। करीब आधे घंटे तक गुहार लगाने पर भी दरवाजा नहीं खोलने पर आखिरकार रोते हुए ही वह परीक्षा केंद्र से निकली। तीनों अभ्यर्थियों का कहना था कि वे करीब आठ बजे ही परीक्षा केंद्र पर पहुंच गए थे। लेकिन, प्रवेश समय के दौरान प्रवेश द्वार पर खड़े कर्मचारी उन्हें एक दूसरे द्वार पर भेजते रहे। जिसकी वजह से देरी होने पर उन्हें परीक्षा से बाहर कर दिया गया।

नाम व एसके कॉलेज की अव्यवस्था का खामियाजा
एसके स्कूल व एसके कॉलेज के नाम के फेर व एसके कॉलेज की व्यवस्थाओं में खामी ने अभ्यर्थियों को काफी गफलत में रखा। कॉलेज में मुख्य द्वार की बजाय पुराने विधि कॉलेज के द्वार को प्रवेश द्वार बनाया गया। जिसकी बाहर कोई सूचना नहीं लिखी थी। ना ही अभ्यर्थियों के रोल नम्बर बाहर चस्पा थे। लिहाजा बाहरी जिलों से आए अभ्यर्थी एसके कॉलेज के मुख्य द्वार से दूसरे द्वार पर भेजे जाने पर सीधे एसके स्कूल के द्वार तक पहुंच रहे थे। वहां से वापस भेजने पर फिर से एसके कॉलेज के मुख्य द्वार पर लौट रहे थे। प्रवेश का समय पूरा होते समय ये गफलत ज्यादा रही। फिर जब एसके कॉलेज का प्रवेश द्वार बंद हुआ तो कुछ मिनटों की देरी से पहुंची युवतियों को कर्मचारियों ने दरवाजा बंद होने की बात कहते हुए मुख्य दरवाजे से आने को कहा। जहां युवतियां पहुंची तो उन्हें प्रवेश द्वार दूसरा होने की कहते हुए वापस भेज दिया गया। इस तरह इधर- उधर की भाग-दौड़ में ही समय बीतते हुए उन्हें परीक्षा से वंचित कर दिया गया। जिसे लेकर उनके साथ आए परिजनों व अन्य लोगों में भी खासा रोष दिखा। हालांकि इसमें बड़ी चूक युवतियों की भी रही जो परीक्षा केंद्र पर समय से काफी पहले आने पर भी प्रवेश के लिए अंतिम समय का इंतजार करती रही।


76 हजार 971 देंगे परीक्षा
सीकर में 232 परीक्षा केंद्रों पर आयोजित होने वाली रीट परीक्षा के लिए 76 हजार 971 अभ्यर्थी पंजीकृत हैं। जो दो पारियों में परीक्षा देंगे। इनमें 56 हजार से ज्यादा अभ्यर्थी दूसरे जिलों के हैं।

बच्चों के साथ परीक्षा देने आई मां, पिता तो किसी को बहन ने संभाला
एसके स्कूल व कॉलेज में कई महिलाएं छोटे बच्चों को साथ लेकर परीक्षा देने पहुंची। परीक्षा केंद्र में प्रवेश के बाद उन बच्चों को उनके पिता तो किसी को मौसी व अन्य परिजन संभालते दिखे। परिजनों ने इस दौरान युवतियों व महिलाओं के परीक्षा केंद्र दूसरे जिले में देन की बोर्ड की व्यवस्था पर नाराजगी भी जताई।

ये की गई है व्यवस्था
परीक्षार्थियों की भारी संख्या को देखते हुए जिला प्रशासन ने व्यापक इंतजाम किए हैं। अभ्यर्थियों के आवास के लिए 145 से ज्यादा धर्मशालाएं व आवास स्थल तय करने के अलावा प्रशासन ने अभ्यर्थियों के निशुल्क भोजन की भी व्यवस्था की है। जिसमें कई सामाजिक संगठनों का सहयोग लिया गया है। इसके अलावा उनके आवागमके लिए भी पांच अस्थाई बस स्टैंड सहित निजी वाहनों की भी निशुल्क सुविधा व जगह जगह पर हेल्प डेस्क मुहैया करवाई गई है।

आज कम रही मशक्कत, आराम से पहुंचे अभ्यर्थी
परीक्षा केंद्र पर आज सुबह बसों से पहुंचने वाले अभ्यर्थियों की मशक्कत कम रही। क्योंकि ज्यादातर अभ्यर्थी शनिवार रात तक ही परीक्षा केंद्रों तक पहुंच चुके थे। जो सुबह आए वे अपने निजी वाहनों से पहुंचे। ऐसे में बसों में ज्यादा भीड़ नहीं रही। इधर, प्रशासन के बाजार बंद रखने के फैसले से बाजार में भी आम लोगों का आवागमन कम रहा। जिससे व्यवस्थाएं काबू में रही।

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