साढ़े तीन की जगह पांच लाख का भुगतान
उपयंत्री पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने 26 वॉट की 140 एलईडी लाइट की खरीदी में अनियमितता बरती। एक एलईडी लाइट की कीमत 2589 रुपए है। इसकी कुल कीमत 3,62,449 रुपए है। जबकि निकाय द्वारा 4,98,000 हजार रुपए भुगतान कर दिया गया। ऐसे में नगर पालिका को लगभग 1 लाख 36 हजार की राजस्व की आर्थिक क्षति हुई है। वहीं 36 वॉट की 120 एलईडी लाइट की खरीदी निकाय ने प्रतिनग 4,150 के हिसाब से खरीदी की है। इसमें 4 लाख 98 हजार रुपए व्यय किया गया है। आयुक्त द्वारा पत्र में कहा गया है कि एलईडी लाइट की खरीदी में आईएस सर्टिफिकेशन, ब्रांड, तकनीकी मूल्यांकन, मानकों का निर्धारण, दरों का औचित्य, थर्ड पार्टी रिपोर्ट, गुणवत्ता प्रमाण पत्र, एनएबीएल टेस्ट रिपोर्ट आदि संबंधित नियमों का पालन नहीं किया गया है। आयुक्त ने उपयंत्री को पत्र के माध्यम से यहा है कि यह कृत्य अपने पदीय कर्तव्यों के प्रति घोर लापरवाही, अनुशासनहीनता एवं शासन के प्रति निष्ठा संदिग्ध होने का परिचायक है।
उपयंत्री पर आरोप लगाया गया है कि उन्होंने 26 वॉट की 140 एलईडी लाइट की खरीदी में अनियमितता बरती। एक एलईडी लाइट की कीमत 2589 रुपए है। इसकी कुल कीमत 3,62,449 रुपए है। जबकि निकाय द्वारा 4,98,000 हजार रुपए भुगतान कर दिया गया। ऐसे में नगर पालिका को लगभग 1 लाख 36 हजार की राजस्व की आर्थिक क्षति हुई है। वहीं 36 वॉट की 120 एलईडी लाइट की खरीदी निकाय ने प्रतिनग 4,150 के हिसाब से खरीदी की है। इसमें 4 लाख 98 हजार रुपए व्यय किया गया है। आयुक्त द्वारा पत्र में कहा गया है कि एलईडी लाइट की खरीदी में आईएस सर्टिफिकेशन, ब्रांड, तकनीकी मूल्यांकन, मानकों का निर्धारण, दरों का औचित्य, थर्ड पार्टी रिपोर्ट, गुणवत्ता प्रमाण पत्र, एनएबीएल टेस्ट रिपोर्ट आदि संबंधित नियमों का पालन नहीं किया गया है। आयुक्त ने उपयंत्री को पत्र के माध्यम से यहा है कि यह कृत्य अपने पदीय कर्तव्यों के प्रति घोर लापरवाही, अनुशासनहीनता एवं शासन के प्रति निष्ठा संदिग्ध होने का परिचायक है।