इस मामले को लेकर हुआ एक्शन
दरअसल, पिछले साल 14 मार्च को कमल सिंह नाम के व्यक्ति ने आवेदन किया था कि उनकी बेटी को भागकर ले जाने को लेकर गोपाल नाम के युवक के खिलाफ उन्होंने शिकायत दर्ज कराई थी। मानवाधिकार आयोग ने मामला दर्ज कर सीहोर एसपी को मामले की जांच कर रिपोर्ट जमा करने का आदेश दिया था। इस मामले की आयोग ने निरंतर सुनवाई की लेकिन,
सीहोर एसपी को विभिन्न तारीखों पर पत्र एवं स्मरण पत्र जारी करने के बावजूद आयोग को कोई जवाब नहीं मिला।
Union Carbide Toxic Waste: जहरीले कचरे को पीथमपुर में जलाने को लेकर प्रदर्शन, कांग्रेस-भाजपा भी कर रहे विरोध इसके बाद आयोग ने 27 अगस्त 2024 को उन्हें व्यक्तिगत तौर पर पत्र जारी कर 26 सितंबर 2024 तक रिपोर्ट पेश करने का आदेश दिया। इस पर भी
सीहोर एसपी मयंक अवस्थी की तरफ से न कोई जवाब नहीं आया और ना ही 26 सितंबर 2024 को वह आयोग के समक्ष उपस्थित हुए। जिसके बाद आयोग ने अब व्यवहार प्रक्रिया संहिता की धारा 32(ग) के तहत एसपी पर 5000 हजार रूपए का जमानती वारंट जारी करते हुए आयोग में व्यक्तिगत रूप से उपस्थित होने का निर्देश दिया है।