सहारनपुर

घरों से तिरंगा झंडा हटाने के आदेश, विरोध में उतरे लोग

Highlights- सहारनपुर के देवबंद घरों की छतों पर तिरंगे झंडे लगाने को लेकर विवाद- पूर्व विधायक माविया अली ने कहा है कि तिरंगा झंडा फहराना मौलिक अधिकार- बोले- सरकार मुस्लिमों से तिरंगा झंडा लेकर उनके हाथों में पत्थर थमाना चाहती है

सहारनपुरFeb 15, 2020 / 02:04 pm

lokesh verma

सहारनपुर. घरों की छतों पर लगे तिरंगे झंडों को उतरवाने के आदेश को लेकर देवबंद में विवाद शुरू हो गया है। बताया जा रहा है कि शुक्रवार की शाम नगर पालिका की तरफ से एसडीएम के आदेश का हवाला देते हुए झंडे उतारने को लेकर मुनादी कराई गई तो लोग इसके विरोध में उतर आए। हालांकि एसडीएम राकेश कुमार का कहना है कि उन्होंने इस तरह के कोई आदेश नहीं दिए हैं। आदेश सिर्फ गलत तरीके से झंडा लगाने वालों के लिए थे।
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बता दें कि पूर्व विधायक माविया अली ने गणतंत्र दिवस पर देवबंद में करीब 10 हजार तिरंगे झंडे लोगों की छतों पर लगवाए थे। नगर पालिका परिषद के अधिशासी अधिकारी विनोद कुमार का कहना है कि उन्होंने एसडीएम के मौखिक आदेश पर झंडे उतरवाने का ऐलान कराया था। उनका कहना है कि यह आदेश केवल उन्हीं झंडों के लिए थे, जो कि गलत तरीके से लगाए गए हैं। वहीं इस संबंध में एसडीएम राकेश कुमार का कहना है कि उन्होंने केवल नियमानुसार झंडा नहीं लगाने वालों को झंडा उतारने के आदेश दिए थे।
वहीं, पूर्व विधायक माविया अली ने कहा है कि तिरंगा झंडा फहराना मौलिक अधिकार है। सर्वोच्च न्यायालय की गाइड लाइन के अनुसार ही तिरंगे झंडे लगाए गए हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार के इशारे पर ही प्रशासन ऐसा कर रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार मुस्लिमों से तिरंगा झंडा लेकर उनके हाथों में पत्थर थमाना चाहती है। भारतीय जनता पार्टी की इस साजिश को कभी कामयाब नहीं होने देंगे।
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