#Eid-ul-Adha जानिए इस दिन क्याें दी जाती है कुर्बानी, बता रहे हैं शहर ‘काजी’ इस पशु पैठ (Eid Market) में पशु खरीदने और बेचने के लिए आए लाेगाें से ह्मने बात की ताे उन्हाेंने जाे बताया वह इससे भी अधिक हैरान कर देने वाला था। इन्हाेंने बताया कि इस बार पिछले वर्ष की अपेक्षा सस्ते दामाें में पशु मिल रहे हैं। बाेले कि, इस बार काफी मंदा है और पिछली बार की अपेक्षा उन्हें सस्ते में पशु मिल रहे हैं। यानी इस बार ईद मनाना आसान हो गया है। यह अलग बात है कि इसी पशु बाजार में डेढ़ लाख रुपए तक भैंसे भी बिकने के लिए आए हुए थे और इनमें से कई ऐसे ऐसे थे जिनके लिए एक-एक लाख रुपये की बाेली लग चुकी थी।
बकरीद से एक दिन पहले भाजपा के बड़े नेता ने बताया कश्मीर से क्यों हटाई गई धारा 370 और 35a, देखें वीडियाे कम कीमत पशु खरीदकर भी खुश नहीं दिखे लाेग
पशु पैठ में जब हमने कुछ लोगों से बात की तो उन्होंने यह तो कहा कि इस बार पिछले वर्ष की अपेक्षा पशुओं की कीमत कम है लेकिन वह इससे खुश नहीं दिखे। दरअसल उनके मन में दूसरों को भी लाभ पहुंचाने की बात थी और उन्होंने कहा कि जब पशु की कीमत कम है तो पशु बेचने आए लोगों को भी अच्छा नहीं लगेगा और ऐसे में उनकी ईद फीकी रह जाएगी। यानी सस्ता खरीदने के बाद भी यहां लोग खुश नहीं थे।
बकरों की रहती है डिमांड ईद-उल-अजहा या कह लीजिए बकरीद पर सबसे अधिक डिमांड बकरों की रहती है। बकरा बाजार अलग से सजते हैं लेकिन ईद पर पशु बाजार में क्या बदलाव देखने काे मिलता है यह जानने के लिए हम गागलहेड़ी थाने के पास लगने वाले पशु पैठ में पहुंचे थे। यहां हमने देखा कि, लाेग भैंस और भैंसों को नहला धुला-कर फूल मालाएं पहनाकर बेचने के लिए लाए थे। पूछने पर इन्हाेंने बताया कि कल बकरा ईद है इसीलिए इन सभी पशुओं को मालाएं पहनाकर बेचने के लिए लाया गया है।