सागर. दो दिन पहले मकरोनिया के बड़तूमा में मिले 11 साल के बच्चे के जले हुए शव के मामले में पुलिस ने रविवार को खुलासा कर दिया। किशोर को उसके साथी अंकित अहिरवार ने ही जिंदा जलाकर मारा था। आरोपी चिकिन पार्टी करने मृतक के साथ उसके घर गया था, जहां उसने अवैध संबंध बनाने की मांग की, लेकिन मृतक ने मना कर दिया। इसके बाद आरोपी ने गैस पाइप से गला दबाया और बेसुध होने पर उसके साथ आप्रकृतिक कृत्य किया। इसके बाद आरोपी ने सबूत मिटाने के उद्देश्य से घर में पड़े बिस्तर व अन्य कपड़े ऊपर डालकर बच्चे को जिंदा जला दिया। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार करते हुए उस पर हत्या, आप्रकृतिक कृत्य, पॉक्सो सहित अन्य धाराओं में मामला पंजीबद्ध करते हुए उसे न्यायालय में पेश किया, जहां से उसे जेल भेज दिया गया है।
दरअसल मकरोनिया के बड़तूमा में शुक्रवार की सुबह पुलिस को एक घर में 11 साल के बच्चे का जला हुआ शव मिला था। सूचनाकर्ता मृतक के बड़े भाई ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि उसका भाई मीट मार्केट में काम करता था और घटना के पहले गुरुवार की रात वह मकरोनिया निवासी अंकित अहिरवार के साथ था। पुलिस ने संदिग्ध की तलाश की तो पता चला कि घटना के बाद से वह गायब है।
आरोपी आदतन अपराधी, मोबाइल भी नहीं रखता
घटना के बाद गायब हुए आरोपी की तलाश करना पुलिस के लिए सबसे बड़ी चुनौती थी, क्योंकि वह आदतन अपराधी और शातिर है। वह मोबाइल फोन भी साथ में नहीं रखता। इसके बाद पुलिस ने अपना खूफिया तंत्र सक्रिय किया तो पता चला कि आरोपी को रेलवे स्टेशन पर देखा गया था। इसके बाद पुलिस ने कडिय़ां जोड़ी और आरोपी को भोपाल से गिरफ्तार कर लिया। आरोपी इतना शातिर है कि उसने घटना के बाद अपने कपड़े भी बदल लिए थे, जिससे उसकी आसानी से पहचान न हो सके। आरोपी को पकडऩे में मकरोनिया सीएसपी नीलम चौधरी, थाना प्रभारी शिवम दुबे, एएसआई कासीराम कोंदर, प्रधान आरक्षक अतुल दुबे, आरक्षक नितिन तिवारी, शिव शंकर सेन, बृजेश विश्वकर्मा का विशेष योगदान रहा।
दरअसल मकरोनिया के बड़तूमा में शुक्रवार की सुबह पुलिस को एक घर में 11 साल के बच्चे का जला हुआ शव मिला था। सूचनाकर्ता मृतक के बड़े भाई ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि उसका भाई मीट मार्केट में काम करता था और घटना के पहले गुरुवार की रात वह मकरोनिया निवासी अंकित अहिरवार के साथ था। पुलिस ने संदिग्ध की तलाश की तो पता चला कि घटना के बाद से वह गायब है।
आरोपी आदतन अपराधी, मोबाइल भी नहीं रखता
घटना के बाद गायब हुए आरोपी की तलाश करना पुलिस के लिए सबसे बड़ी चुनौती थी, क्योंकि वह आदतन अपराधी और शातिर है। वह मोबाइल फोन भी साथ में नहीं रखता। इसके बाद पुलिस ने अपना खूफिया तंत्र सक्रिय किया तो पता चला कि आरोपी को रेलवे स्टेशन पर देखा गया था। इसके बाद पुलिस ने कडिय़ां जोड़ी और आरोपी को भोपाल से गिरफ्तार कर लिया। आरोपी इतना शातिर है कि उसने घटना के बाद अपने कपड़े भी बदल लिए थे, जिससे उसकी आसानी से पहचान न हो सके। आरोपी को पकडऩे में मकरोनिया सीएसपी नीलम चौधरी, थाना प्रभारी शिवम दुबे, एएसआई कासीराम कोंदर, प्रधान आरक्षक अतुल दुबे, आरक्षक नितिन तिवारी, शिव शंकर सेन, बृजेश विश्वकर्मा का विशेष योगदान रहा।