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बांस का अचार खाने के फायदे (Bamboo Pickle Health Benefits)— बांस दिल घुलनशील और गैर-घुलनशील आहार फाइबर के मध्यम स्तर।
— बैम्बू हार्ट विटामिन के बी-कॉम्प्लेक्स समूह जैसे थायमिन, राइबोफ्लेविन, नियासिन, विटामिन बी-6, और पैंटोथेनिक एसिड से भी भरपूर होता है जो सेलुलर, एंजाइमैटिक और मेटाबोलिक कार्यों के लिए आवश्यक हैं।
— बांस में विशेष रूप से मैंगनीज और तांबा खनिज होता है। इसके अलावा, इसमें कैल्शियम, आयरन और फॉस्फोरस जैसे कुछ आवश्यक खनिजों और इलेक्ट्रोलाइट्स की मात्रा भी होती है।
— बैम्बू शूट में पोटेशियम का उत्कृष्ट स्तर होता है।
— बांस का अचार हाइट बढ़ाने में सहायक होता है।
— बांस अचार खाने से हड्डियां मजबूत होती है।
बांस का अचार बनाने के लिए सामग्री (Bamboo Pickle Ingredients)
बाँस (करील) – 500 ग्राम
हल्दी पाउडर – 1 टेबल स्पून
नमक – स्वादानुसार
राई या सरसों – एक टेबल स्पून
अजवाइन – एक टी स्पून
मेथी दाना – 1 टेबल स्पून
सौंफ – 1 टेबल स्पून
अमचूर- 1 टेबल स्पून ( ऑप्शनल)
सरसों का तेल- एक कप
बाँस (करील) – 500 ग्राम
हल्दी पाउडर – 1 टेबल स्पून
नमक – स्वादानुसार
राई या सरसों – एक टेबल स्पून
अजवाइन – एक टी स्पून
मेथी दाना – 1 टेबल स्पून
सौंफ – 1 टेबल स्पून
अमचूर- 1 टेबल स्पून ( ऑप्शनल)
सरसों का तेल- एक कप
बांस करील का अचार बनाने की विधि (Bamboo Pickle Recipe)
— सबसे पहले बांस की करील के छिलके उतार लें और इसके पतले या छोटे चोकौर टुकड़े काट लें। इसे काटकर मिट्टी के बर्तन में धूप में 1-2 दिन के लिए रख दें।
— फिर एक कड़ाही लें। इसमें राई, अजवाइन, मेथी दाने, सौंफ डालकर धीमी आंच पर भूनें। ठंडा हो जाने पर मिक्सर के जार में दरदरा पीस लें।
— अब करील के बर्तन में ही करील के ऊपर पिसा मसाला डालें। साथ ही अमचूर, मिर्च पाउडर, हल्दी, नमक डालकर अच्छे से मिक्स कर लें।
— एक बर्तन में सरसों का तेल इतनी देर तक गर्म करें कि उसमें से भांप उठने लगे। गैस बंद करें। काफी हद तक ठंडा होने दें। अब इसे तैयार करील पर पलट दें।
— करील के तैयार अचार को एयर टाइट कंटेनर या अचार के मर्तबान में रखें और इसे 3-4 दिन के लिए धूप में रखें। बस आपका करील का अचार तैयार है।
— एक बात का विशेष ध्यान रखें कि हर अचार की तरह इसमें भी गीली या नमी वाली या जूठी चम्मच न डालें। इससे अचार जल्दी खराब हो जाता है। जब भी अचार खाना हो, सूखी चम्मच से कटोरी में अचार निकाल लें और इस्तेमाल करें।
— बांस करील का अचार दाल- चावल, चावल-सब्जी या पूड़ी के साथ बहुत ही अच्छा लगता है।
— सबसे पहले बांस की करील के छिलके उतार लें और इसके पतले या छोटे चोकौर टुकड़े काट लें। इसे काटकर मिट्टी के बर्तन में धूप में 1-2 दिन के लिए रख दें।
— फिर एक कड़ाही लें। इसमें राई, अजवाइन, मेथी दाने, सौंफ डालकर धीमी आंच पर भूनें। ठंडा हो जाने पर मिक्सर के जार में दरदरा पीस लें।
— अब करील के बर्तन में ही करील के ऊपर पिसा मसाला डालें। साथ ही अमचूर, मिर्च पाउडर, हल्दी, नमक डालकर अच्छे से मिक्स कर लें।
— एक बर्तन में सरसों का तेल इतनी देर तक गर्म करें कि उसमें से भांप उठने लगे। गैस बंद करें। काफी हद तक ठंडा होने दें। अब इसे तैयार करील पर पलट दें।
— करील के तैयार अचार को एयर टाइट कंटेनर या अचार के मर्तबान में रखें और इसे 3-4 दिन के लिए धूप में रखें। बस आपका करील का अचार तैयार है।
— एक बात का विशेष ध्यान रखें कि हर अचार की तरह इसमें भी गीली या नमी वाली या जूठी चम्मच न डालें। इससे अचार जल्दी खराब हो जाता है। जब भी अचार खाना हो, सूखी चम्मच से कटोरी में अचार निकाल लें और इस्तेमाल करें।
— बांस करील का अचार दाल- चावल, चावल-सब्जी या पूड़ी के साथ बहुत ही अच्छा लगता है।