इसका उद्देश्य जब ट्रेन अपनी पूरी क्षमता के साथ चले तब मवेशी या कोई व्यक्ति आकर किसी प्रकार की अनहोनी नहीं करें, यह है। इसके लिए रेलवे ने दिल्ली से मथुरा तक काम पूरा कर लिया है।
जबकि
रतलाम रेल मंडल के नागदा से बड़ोदा के बीच अलग-अलग सेक्शन में काम तेजी से चल रहा है। देश में जिस तरह से अचानक रेलवे ट्रैक पर साजिश के तहत कुछ भी रखने की शुरूआत हुई है, उसके बाद यह जरूरी हो गया है कि सेटी वॉल पूरे देश के रेलवे ट्रैक पर बनाई जाए।
ये है रेलवे की योजना
दिल्ली-मुंबई रेलमार्ग, देश का एक प्रमुख रेलवे मार्ग है। जो राष्ट्रीय राजधानी नई दिल्ली को वित्तीय राजधानी मुंबई से जोड़ता है। यह रेलमार्ग 1,386 किलोमीटर (861 मील) की दूरी तय करती है, और दिल्ली, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र भारतीय राज्यों से होकर गुजरती हैं। इस समय यहां पर अधिकतम 130 किमी प्रतिघंटे की रतार से ट्रेन को चलाया जा रहा है। जबकि रेलवे की योजना इसको बढ़ाकर पहले 160 किमी प्रति घंटा व इसके बाद 200 किमी प्रतिघंटे करने की है।
सेफ्टी पर ध्यान
देश के कई राज्यों में एक माह में अचानक से ट्रैक पर कभी सिलेंडर तो कभी सीमेंट का स्लीपर सहित अन्य सामान रखा गया। रतलाम रेल मंडल के मंदसौर-नीमच सेक्शन में पिछले सप्ताह ही पटरी पर सीमेंट का स्लीपर चालक को मिला। ऐसे में अब जरूरी है कि यात्रियों व रेल की सुरक्षा के लिए मुंबई-रतलाम-नई दिल्ली रेलवे ट्रैक की तरह ही पूरे देश के रेल ट्रैक पर सुरक्षा वॉल बनाई जाए।
फिलहाल सुरक्षा के दो तरीके
फिलहाल देशभर में चलती ट्रेन के दौरान सुरक्षा के दो तरीके है। पहला तरीका तो इंजन चालक व सहायक चालक दूर से ही ट्रैक को देखें व इंजन को आपात हालात में रोक ले। दूसरा तरीका है गैंगमैन व ट्रैकमैन की तरफ से होने वाली पेट्रोलिंग का। 8 किमी के दायरे में 24 घंटे गैंगमैन व ट्रैकमैन रेल पटरी की सुरक्षा का काम करते है। हालांकि एक ट्रैक से निकलने के बाद पीछे से कोई कुछ रखें तो इसके लिए इनकी जिमेदारी नहीं होती।
ट्रैक पर अधिक मुस्तैद होना पडे़गा
रेलवे ट्रैक पर अचानक से कई प्रकार की ऐसी वस्तुएं जो रेल यात्रा के दौरान खतरनाक साबित हो सकती है, रखी जा रही है। ऐसे में रेलवे की रीढ़ की हड्डी समझे जाने वाले ट्रैकमैन, गैंगमैन को अधिक मुस्तैदी से काम करने की जरूरत है। करोड़ों यात्रियों का भरोसा उनके साथ जुड़ा हुआ रहता है।- आरएन सुनकर, सेवानिवृत सदस्य, रेलवे बोर्ड