छत्तीसगढ़ में कई धार्मिक पर्यटन स्थल है, वहीं कम खर्च में प्राकृतिक की गोद में आप अपने पल को ऍन्जाय करना चाहते हैं तो बालोद में स्थित सियादेवी मंदिर जा सकते हैं। मंदिर प्राकृतिक सुंदरता से घिरा हुआ है। घने जंगल, पहाड़ों और झरनों के बीच यह स्थान बहुत सुन्दर हैं। सैर सटापे के लिए लिए यह जगह बेस्ट है।
1. छत्तीसगढ़ का वृंदावन धार्मिक पर्यटन स्थल घूमने का मन बना रहे हैं तो चंपारण बेस्ट है। महानदी के तट पर बने मंदिर आपको वृंदावन जैसी अनुभूति कराएगा। सभी मंदिर वृंदावन की तर्ज पर बनाए गए हैं। यह स्थान महाप्रभु श्रीवल्लाभाचार्य की जन्मस्थली है।
ऐसे पहुंचे : राजधानी से लगभग 45 किमी की दूरी तय कर सड़क मार्ग से चंपारण पहुंच सकते हैं। यह है खास: चंपेश्वर महादेव मंदिर, राम जानकी मंदिर समेत 100 से अधिक चित्रों की प्रदर्शनी देख सकते हैं।
2. लव-कुश की जन्म स्थली कम रेंज में आप बलौदाबाजार जिले के तुरतुरिया में बाल्मिकी आश्रम भी जा सकते हैं। तुरतुरिया लव कुश की जन्म स्थली है। यह बारनवापारा अभयारण्य से लगा हुआ है।
क्या है खास: चारों तरफ हरियाली और पहाड़ों से घिरा हुआ आश्रम है। ऐसे पहुंचे: रायपुर से तुरतुरिया की दूरी लगभग 85 किमी है। 3. छत्तीसगढ़ का ‘प्रयाग’ राजिम वेकेशन में सैर सपाटे के लिए आप राजिम का भी प्लान बना सकते हैं। यहां महानदी, पैरी और सोंढुर नदी का संगम है, इसे छत्तीसगढ़ का ‘प्रयाग’ कहा जाता है। संगम के बीच में कुलेश्वर महादेव का मंदिर है।
यह है खास: त्रिवेणी नदी का संगम आकर्षण केंद्र। ऐसे पहुंचे: राजीव लोचन मंदिर की दूरी 45 किमी की है। 4. जतमई वाटरफॉल पल को यादगार बनाने के लिए हर कोई हरियाली और पहाड़ों के बीच जाना चाहता है। ऐसे में जतमई-घटारानी की बात न हो तो ऐसा हो ही नहीं सकता। पहाड़ों से गिरती झरना अपनी प्राकृतिक सुंदरता की छटा बिखेरता है। हर साल यहां हजारों सैलानी आते हैं।
यह है खास: पहाड़ी से गिरता नेचुरल वाटरफॉल आकर्षण का केन्द्र है। ऐसेे पहुंचे: यह रायपुर से 77 किमी की दूरी पर स्थित है। 5. आर्टिफिशियल जंगल सफारी एशिया महाद्वीप का सबसे बड़ा मानव निर्मित जंगल सफारी रायपुर में स्थित है। ऐसे में आप रायपुर से हैं तो बहुत लक्की है। जंगल सफारी घूमने का प्लान बनाकर अपने वेकेशन को खास बना सकते हैं।
क्या है खास : जंगली जानवर खुले में रहते हैं। ऐसे पहुंचे: रायपुर से इसकी दूरी महज 25 किमी है। 6. कौशल्याधाम चंदखुरी आप रायपुर से हैं तो एक बार चंदखुरी जरूर जाएं। भगवान राम की माता कौशल्या की जन्म स्थली है। तालाब के बीचों-बीच माता कौशल्या का मंदिर बना हुआ है,
यह है खास : आपको माता कौशल्या के बारे में जानने को मिलेगा। ऐसे पहुंचे : राजधानी से सड़क मार्ग से दूरी 27 किमी है। 7. बालोद की सियादेवी छत्तीसगढ़ में कई धार्मिक पर्यटन स्थल है, वहीं कम खर्च में आप ऍन्जाय करना चाहते हैं तो बालोद में स्थित सियादेवी मंदिर जा सकते हैं। मंदिर प्राकृतिक सुंदरता से घिरा हुआ है। घने जंगल, पहाड़ों और झरनों के बीच यह स्थान बहुत सुन्दर हैं।
यह है खास : झोलबाहरा और तुमनाला का संगम स्थल हैं। जलधारा एक प्राकृतिक झरने के रूप में गिरती हैं। झरने की ऊंचाई 50 फीट हैं। ऐसे पहुंचे : रायपुर से बालोद और सांकरा जाए। यहां से 25 कि मी दूर पर नारागांव पहाड़ी पर सियादेवी मंदिर स्थित है।
8. राज्य का मिनी गोवा कम खर्चे में आप गोवा का मजा लेने की सोच रहे हैं तो धमतरी के गंगरेल बांध घूमने की सलाह देंगे। जिस तरह लोग पानी में मोटरबोट का आनंद लेते हैं ठीक उसी तरह की मस्ती बांध के किनारे कर सकते हैं। गोवा की तर्ज पर रिसॉर्ट बनाया गया हैं।
यह है खास: घूमने के साथ-साथ आप वाटर स्पोर्ट्स का भी आनंद उठा सकते हैं। ऐसे पहुंचें: रायपुर से धमतरी पहुंचने के बाद आप गंगरेल बांध पहुंचे सकते हैं। सड़क मार्ग से इसकी दूरी लगभग 80 किमी दूर है।
9. सोमनाथ मंदिर आप सिमगा के लखना गांव भी जा सकते हैं। यहां लगभग 6-7 वीं शताब्दी के प्राचीन शिवमंदिर है। रंग बदलने के साथ ही स्वयं-भू शिवलिंग का आकार लगातार बढ़ते जा रहा है। इसे सोमनाथ मंदिर के नाम से जाना जाता है। खारून और शिवनाथ नदी का यह संगम स्थल है।
ऐसे पहुंचे : राजधानी से लगभग 45 किमी की दूरी तय कर सड़क मार्ग से सोमनाथ मंदिर पहुंच सकते हैं। यह है खास: धार्मिक स्थल होने के साथ-साथ नदी के तट पर आप नए साल को खास बना सकते हैं।