रायपुर

कोरोना लॉकडाउन : बैंकों में मिनिमम बैलेंस की बाध्यता खत्म

तीन महीने तक मिलेगी सुविधा

रायपुरMar 24, 2020 / 09:04 pm

ashutosh kumar

कोरोना लॉकडाउन : बैंकों में मिनिमम बैलेंस की बाध्यता खत्म

रायपुर. कोरोना की आशंका को लेकर देश के सबसे बड़े बैंक एसबीआई यानी भारतीय स्टेट बैंक ने अपने बचत खाताधारकों को बड़ी सौगात दी है। एसबीआई ने सेविंग्स अकाउंट के लिए एक औसत मासिक न्यूनतम राशि रखने की अनिवार्यता मंगलवार को समाप्त करने की घोषणा की। इससे अब बैंक के सभी बचत खाताधारकों को बुधवार से जीरो बैलेंस खाते की सुविधा मिलने लगेगी। बैंक ने हर तिमाही वसूला जाने वाला एसएमएस चार्ज भी खत्म कर दिया है। इसके अलावा बैंक ने सभी बचत खातों पर ब्याज दर घटाकर समान रूप से तीन प्रतिशत वार्षिक कर दिया है।
मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में वत्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जिन कदमों की घोषणा की उनमें 3 महीने तक दूसरे बैंक के एटीएम से पैसे निकालने पर शुल्क से छूट, मिनिमम बैलेंस से राहत और आयकर रिटर्न भरने की अंतिम तारीख आगे बढ़ाना शामिल हैं। उन्होंने कहा कि आर्थिक पैकेज का ऐलान बाद में किया जाएगा। विशेषज्ञों का कहना है कि शॉर्ट टर्म में जो नुकसान होगा उसे तो रोका नहीं जा सकता लेकिन सरकारें राहत उपायों की घोषणा जल्दी करके दीर्घकाल में होने वाले नुकसान को सीमित कर सकती हैं। इसके बावजूद भारत में अभी तक किसी आर्थिक पैकेज का ऐलान नहीं किया गया है।

दूसरे बैंक के एटीएम से पैसे निकालने पर शुल्क नहीं लगेगा
वित्त मंत्री ने कहा कि डेबिट कार्ड होल्डर 3 महीने यानी 30 जून तक किसी भी दूसरे बैंक के एटीएम से पैसे निकाल सकेंगे और इसके लिए उन्हें कोई भी शुल्क नहीं देना पड़ेगा। अभी दूसरे बैंक का एटीएम इस्तेमाल करने पर शुल्क देना पड़ता है। उन्होंने कहा कि बचत बैंक खाताधारकों को अपने खाते में न्यूनतम राशि जमा करने रखने की शर्त से भी छूट रहेगी। अभी न्यूनतम राशि नहीं रखने पर बैंक शुल्क लेते हैं। कारोबारियों के लिए डिजिटल ट्रेड पर बैंकिंग ट्रांजैक्शन चार्ज भी कम करने का फैसला किया गया है।

30 जून तक फाइल कर सकेंगे 2018-19 का इनकम टैक्स रिटर्न
वित्त मंत्री ने बताया कि वित्त वर्ष 2018-19 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न भरने की अंतिम तारीख बढ़ाकर 30 जून 2020 कर दी गई है। देर से टैक्स जमा करने पर लगने वाले ब्याज की दर 12 फ़ीसदी से घटाकर 9 फ़ीसदी की गई है। आधार और पैन को जोडऩे की समय सीमा भी 31 मार्च से बढ़ाकर 30 जून कर दी गई है। विवाद से विश्वास स्कीम की अवधि भी 30 जून तक बढ़ाई गई है। पहले 31 मार्च तक बिना जुर्माना या ब्याज के टैक्स की रकम चुकाई जा सकती थी। अब यह सुविधा 30 जून तक मिलेगी। पहले 1 अप्रैल से 30 जून तक इस स्कीम का लाभ लेने के लिए टैक्स डिमांड की रकम का 10 फ़ीसदी जुर्माना देने का नियम था।

जीएसटी रिटर्न फाइल करने की अंतिम तारीख बढ़ी
मार्च से मई महीने तक के लिए जीएसटी रिटर्न फाइल करने की अंतिम तारीख 30 जून कर दी गई है। देर से रिटर्न फाइल करने पर 5 करोड़ रुपए तक सालाना टर्नओवर वाली कंपनियों को लेट फीस पेनल्टी या ब्याज नहीं देना पड़ेगा। 5 करोड़ से ज्यादा टर्नओवर वाली कंपनियां भी अगर 15 दिन की देरी से रिटर्न फाइल करती है तो उन्हें लेट फीस या जुर्माना नहीं लगेगा इसके बाद 18 फीसदी की जगह 9 फीसदी की दर से जुर्माना लगेगा

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