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पितृपक्ष के समय बाजार काफी फीका पड़ गया था, लेकिन दुर्गा पूजा के साथ ही तेजी से रौनक लौटी है। अब बुधवार को करवा चौथ, फिर पुष्य नक्षत्र, धनतेरस और दिवाली के त्योहार में बाजारों को सबसे ज्यादा उम्मीदें होती हैं, उसी के हिसाब से कारोबारी कपड़ा, बर्तन, सराफा, इलेक्टि्रॉनिक्स और इलेक्टि्रकल सामानों की खेप मंगा लेते हैं। क्योंकि लोग हर सेक्टर में ज्यादा से ज्यादा खरीदारी करके शादियों की तैयारियां भी पूरी कर लेते हैं। क्योंकि त्योहार बीतने के बाद तुलसी पूजा के साथ ही शादी-विवाह का सीजन शुरू हो जाता है।
पितृपक्ष के समय बाजार काफी फीका पड़ गया था, लेकिन दुर्गा पूजा के साथ ही तेजी से रौनक लौटी है। अब बुधवार को करवा चौथ, फिर पुष्य नक्षत्र, धनतेरस और दिवाली के त्योहार में बाजारों को सबसे ज्यादा उम्मीदें होती हैं, उसी के हिसाब से कारोबारी कपड़ा, बर्तन, सराफा, इलेक्टि्रॉनिक्स और इलेक्टि्रकल सामानों की खेप मंगा लेते हैं। क्योंकि लोग हर सेक्टर में ज्यादा से ज्यादा खरीदारी करके शादियों की तैयारियां भी पूरी कर लेते हैं। क्योंकि त्योहार बीतने के बाद तुलसी पूजा के साथ ही शादी-विवाह का सीजन शुरू हो जाता है।
यह भी पढ़ें : CG Election 2023 : भाजपा के सात प्रत्याशियों ने शक्ति प्रदर्शन के साथ नामांकन जमा किया, कांग्रेस के प्रत्याशी भी समर्थकों के साथ पहुंचे चुनाव के माहौल में सुरक्षा का मसला सता रहा
इस बार त्योहार के समय चुनावी माहौल होने से अधिक से अधिक अमला चुनावी ड्यूटी में ही रहता है। इसलिए कारोबारियों को सुरक्षा का मसला कुछ ज्यादा ही सता रहा है। सराफा बाजार के पूर्व अध्यक्ष हरख मालू के अनुसार सराफा बाजार में ग्राहकी तेजी से बढ़ रही है। इसे देखते हुए उन्होंने जिला और पुलिस प्रशासन से ट्रैफिक व्यवस्था और सुरक्षा पर ज्यादा ध्यान देने की मांग की है। उनका यह भी कहना है कि इजराइल-फिलीस्तीन युद्ध की वजह से सराफा बाजार में काफी बदलाव आया है। चूंकि शेयर बाजार गिरा है, इसलिए लोग उससे पैसा निकाल कर सोने-चांदी की खरीदी में ज्यादा भरोसा कर रहे हैं। इसलिए भाव उतना मायने नहीं रख रहा है। जिस तरह से ग्राहकी बढ़ती जा रही है, उससे साफ है कि सराफा कारोबार बहुत अच्छा रहेगा।
यह भी पढ़ें : चार गुना कमाई का लालच देकर कारोबारी से ढाई करोड़ की ठगी 500 से 600 करोड़ कपड़ा बाजार को उम्मीद इस त्योहारी और शादी सीजन को देखते हुए रेडीमेड और थोक कपड़ा बाजार को 500 से 600 करोड़ का कारोबार होने की उम्मीद है। इसी हिसाब से स्टॉक पहुंच चुका है। छत्तीसगढ़ के अलावा आसपास के शहरों और राज्यों से लगातार डिमांड आ रही है। थोक कपड़ा बाजार संघ के संरक्षक चंदर विधानी के अनुसार कपड़ा कारोबार में काफी रौनक है, परंतु अफसोस इस बात का है कि कोलकाता के बीच सबसे बड़ा रायपुर का यह बाजार होने के बावजूद भी सुविधाएं न के बराबर हैं। न तो पार्किंग व्यवस्था, लाइटें और सुरक्षा का अभाव बना हुआ है। जिसे दुरुस्त किया जाना चाहिए।
घरों और दुकानों को सजाने में जुटे लोग त्योहार के देखते हुए घरों से लेकर दुकानों को सजाने में लोग जुटे हुए हैं। घर-घर खरीदारी का बजट भी परिवारों में तय होने लगा है कि इस बार क्या-क्या खरीदारी करनी है। बच्चों से लेकर बड़ों तक रायशुमारी का दौर चल रहा है। क्योंकि धनतेरस अब नजदीक है।