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अब नई व्यवस्था शासकीय विभाग, कार्यालयों के साथ सभी निगम, मंडल, आयोग, प्राधिकरण, विश्वविद्यालय, अनुदान प्राप्त स्वशासी संस्थाओं आदि में भी सीधी भर्ती के पद पर भर्ती पर लागू होगी। बता दें कि मुख्यमंत्री 2 सितम्बर को नवा रायपुर में राजीव युवा मितान सम्मेलन के दौरान स्टाइपेंड समाप्त करने की घोषणा की थी।
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सीधी भर्ती पर परिवीक्षावधि में उस पद के वेतनमान के न्यूनतम वेतन देने का प्रावधान वित्त विभाग की पूर्व अधिसूचना 28 जुलाई 2020 से पिछली तारीख से लागू होंगे। 28 जुलाई 2020 से इस आदेश के जारी होने के मध्य नियुक्त शासकीय सेवकों का वेतन निर्धारण नियुक्ति दिनांक से वास्तविक आर्थिक लाभ आदेश जारी के दिनांक से प्राप्त होगा। इस प्रकार काल्पनिक आधार पर किए गए वेतन निर्धारण के फलस्वरूप किसी प्रकार के एरियर्स की राशि नहीं दी जाएगी। इसी प्रकार विधिवत् विभागीय अनुमति प्राप्त कर, अन्य सेवा में आने वाले शासकीय सेवकों को जिनके द्वारा पूर्व पद से तकनीकी त्याग पत्र दिया गया है, को वेतन संरक्षण का लाभ मूलभूत नियमों के प्रावधानों के अनुरूप पूर्ववत प्राप्त होगा। इस मामले में भी एरियर्स की राशि नहीं दी जाएगी।
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लागू रहेगी तीन वर्ष की परिवीक्षा अवधि
वित्त विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा सीधी भर्ती के प्रकरणों में तीन वर्ष की परिवीक्षा अवधि के प्रावधान यथावत लागू है। इस आदेश के प्रावधान शासकीय विभाग, कार्यालयों के साथ सभी निगम, मंडल, आयोग, प्राधिकरण, विश्वविद्यालय, अनुदान प्राप्त स्वशासी संस्थाओं आदि में भी सीधी भर्ती पद पर भर्ती पर लागू होंगे।