दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व के साथ होने वाली बैठक में प्रदेश प्रभारी ओम माथुर, सह प्रभारी नितिन नबीन सहित प्रदेश भाजपा संगठन के वरिष्ठ नेता भी शामिल होंगे। बैठक में मंत्रियों के नामों और उनकी सामाजिक समीकरण को विस्तार से चर्चा की जाएगी। कयास लगाए जा रहे हैं कि दिल्ली में ही मंत्रिमडल पर मुहर लगेगी, जिसके बाद यहां मंत्रियों को पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई जाएगी।
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Cabinet Minister Name List : प्रदेश की राजनीतिक गलियारे में सप्ताहभर से मंत्रियों के नामों को लेकर अलग-अलग थ्योरी सामने आ रही है। चर्चा है कि मंत्रिमंडल में ज्यादातर नए चेहरों को मौका दिया जाएगा। क्योंकि पुराने जो चेहरे हैं उनमें अधिकांश विधायक रमन सरकार में कोई पांच साल तो कोई 15 साल तक मंत्री रह चुके हैं। ऐसे में भाजपा शीर्ष नेतृत्व में नई पीढ़ी को आगे बढ़ाने के लिए नए चेहरों को मौका देगा। ताकि दूसरी पंक्ति के नेता भी तैयार हो सकें। वहीं, यह भी कहा जा रहा है कि मंत्रिमंडल में संतुलन बनाने की कोशिश की जाएगी। इस तरह से कुछ पुराने चेहरे और कुछ नए चेहरे को मंत्री बनाया जाएगा। ताकि वरिष्ठ विधायकों में नाराजगी न हो।
भाजपा सूत्रों के अनुसार लोकसभा चुनाव को देखते हुए भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने प्रदेश भाजपा संगठन के वरिष्ठ नेताओं को लोकसभा चुनाव के हिसाब से मंत्रियों के नाम तय करने को कहा है, ताकि चुनाव में इसका फायदा मिल सकें। यह भी बताया जा रहा है कि प्रदेश भाजपा संगठन के नेताओं ने मंत्रियों के नाम तय कर लिए थे, लेकिन शीर्ष नेतृत्व ने ज्यादातर नामों पर असहमति जताते हुए सूची को रोक दिया।
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जेनेरिक दवाएं ही लिखें डॉक्टरमुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने सभी डॉक्टरों को मरीजों के लिए जेनेरिक दवा लिखने को कहा है। साथ ही इसकी क्वालिटी मेंटेन करने के निर्देश दिए हैं। बिलासपुर व जगदलपुर में निर्मित सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल का काम फरवरी तक पूरा करने को कहा है। मार्च के पहले सप्ताह में दोनों अस्पतालों का उद्घाटन पीएम नरेंद्र मोदी करेंगे। सीएम ने 108 एंबुलेंस को 30 मिनट पर घटनास्थल पर पहुंचने के निर्देश दिए हैं।
इसके लिए एंबुलेंस चलाने वाले वेंडर को जरूरी निर्देश दिए जाएंगे। साय ने शुक्रवार को स्वास्थ्य विभाग के कार्यों की समीक्षा की। मुख्यमंत्री बनने के बाद उन्होंने पहली बार किसी विभाग की समीक्षा की है। उनके साथ उपमुख्यमंत्री अरुण साव व विजय शर्मा भी मौजूद थे। साय ने मानसिक स्वास्थ्य से जुड़े सेवाओं को मजबूत बनाने, अस्पतालों में दवाइयों की उपलब्धता सुनिश्चित करने को भी कहा है।
ताकि मरीजों को निजी मेडिकल स्टोर पर निर्भर रहना न पड़े। सड़कों पर घूमने वाले मानसिक रोगियों का तत्काल इलाज किया जाएगा, ताकि वे भी सामान्य जीवन जी सके। उन्होंने प्रदेश को कुष्ठ मुक्त करने के लिए अभियान चलाने को भी कहा है। प्रदेश में फिलहाल केवल एक सुपर स्पेशलिटी अस्पताल डीकेएस है, जो राजधानी रायपुर में है।