बीते 26 सितंबर को रायगढ़ व जामगां बुकिंग कार्यालय से 5 लाख 75 हजार रुपए कलेक्ट किया, लेकिन उक्त रकम को बैंक में जमा नहीं कराया और मोबाइल बंद कर फरार हो गया। उक्त कंपनी के शाखा प्रबंधक बिलासपुर के द्वारा मुकेश गिरी गोस्वामी ने इसकी सूचना पांच अक्टूबर को रायगढ़ जीआरपी को दी। मामले की शिकायत पर जीआरपी ने आरोपी के खिलाफ अमानत में खयानत का मामला दर्ज कर करते हुए विवेचना शुरू की। विवेचना के दौरान गुरुवार को रायगढ़ जीआरपी को मुखबीर से सूचना मिली कि आरोपी राकेश देवांगन चांपा स्टेशन में देखा गया है। ऐसे में जीआरपी के जवानों ने घेराबंदी कर उसे गिरफ्तार कर रायगढ़ लाया।
जीआरपी ने जब आरोपी से पूछताछ की तो उसने बताया कि 26 सितंबर को उसने पांच लाख 75 हजार 40 रुपए बुकिंग कार्यालय से संग्रहित करने के बाद वह मोबाइल बंद कर कोरबा चला गया। इस बीच सबसे पहले वह 32 हजार 999 रुपए का एक नया मोबाइल खरीदा। इसके बाद कोरबा से हरिद्धार एवं दिल्ली गया। जहां उक्त रकम में से दो लाख रुपए को हरिद्धार एवं 80 हजार रुपए को दिल्ली में खर्च कर दिया। साथ ही दो हजार के 50 नोट कुल एक लाख रुपए को हरिद्धार में अज्ञात व्यक्ति से 30 हजार रुपए लेकर बदली किया। अन्य रकम रायपुर व आने-जाने में खर्च कर दिया। साथ ही शेष राशि एक लाख 95 हजार रुपए एवं 32 हजार 999 रुपए का मोबाइल को जब्त कर कोर्ट में पेश किया गया है। आरोपी की गिरफ्तारी में जीआरपी रायगढ़ थाना प्रभारी एनआर भगत, प्र.आर. सितेंद्र सिंह, आरक्षक अवधेश मिश्रा, लकेश्वर मिरी व महिला आरक्षक देवती का योगदान रहा।
कंपनी के नियम से परेशान था आरोपी पुलिस के अनुसार आरोपी ने बताया कि कंपनी द्वारा कहा गया था कि उसे हर माह 25 हजार रुपए मिलेंगे, लेकिन जब माह पूरा हुआ तो कंपनी की ओर से मात्र सात हजार रुपए दिए गए। जिससे उसने रुपए लेकर भाग गया था।