दुष्कर्म और एससीएसटी मुकदमे की सच्चाई ढूंढ रही है सीबीआई इलाहाबाद हाईकोर्ट में जानकारी दी गई कि वर्ष 2019 में मऊआइमा थाने में कुछ वकीलों के खिलाफ दुष्कर्म सहित अन्य धाराओं में तीन मुकदमे लिखे गए थे। इन मुकदमों को फर्जी बताया गया है और इसके पीछे वसूली करने का आरोप है। अब हाईकोर्ट के आदेश पर सीबीआई फर्जी मुकदमे की सत्यता पता लगाने में जुटी है। मऊआइमा सीएचसी के अधीक्षक डा. रामगोपाल वर्मा व महिला चिकित्सक डा. गुंजन अरोड़ा से काफी देर तक सीबीआई ने पूछताछ की। इस दौरान तिलई, घीनपुर और छात बड़ौरा से संबंधित मुकदमों की मेडिकल रिपोर्ट सहित कई अन्य दस्तावेज को अपने कब्जे में लेकर चली गई।
यह भी पढ़ें