दरअसल जब से भाजपा ने साध्वी प्रज्ञा को भोपाल सीट से उम्मीदवार बनाया है तब वे से विरोधियों को निशाने पर हैं। लेकिन इस बार मामला अलग है। अबकी बार भाजपा के सहयोगी दल ने ही पार्टी की प्रत्याशी पर निशाना साधा है। अठावले ने कहा है कि भाजपा उम्मीदवार साध्वी प्रज्ञा ठाकुर के हेमंत करकरे को लेकर दिए गए बयान से वे असहमत हैं। उन्होंने कहा कि एटीएस चीफ हेमंत करकरे के पास साध्वी के खिलाफ पर्याप्त सबूत थे। एक खबर का हवाला देते हुए अठावले ने कहा कि साध्वी का नाम मालेगांव ब्लास्ट में आया था और हेमंत करकरे के पास उनके खिलाफ पर्याप्त सबूत थे। करकरे लोगों को आतंकियों से बचाते समय शहीद हो गए थे। मैं साध्वी के बयान से सहमत नहीं हूं। हम इसकी आलोचना करते हैं।
अठावले का ये बयान ऐसे समय में आया है जब लोकसभा चुनाव का चौथा चरण अपने चरम पर है। भाजपा के लिए इस तरह के बयान उनकी छवि के साथ-साथ वोटों की गिनती भी बिगाड़ सकते हैं।
लोकसभा चुनाव के आहट के साथ ही राजनीतिक दलों में एक दूसरे की टांग खिंचाई शुरू हो गई थी। जैसे-जैस चुनाव आगे बढ़ता गया आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी जोर पकड़ने लगा। अब चौथे चरण का मतदान चल रहा है। सात में से इसके बाद तीन चरण का मतदान बाकी रह जाता है। ऐसे में ये वक्त चुनाव के लिए काफी महत्वपूर्ण वक्त माना जा रहा है। यही वजह है कि नेताओं की जुबानी जंग अब चरम पर है।