कांग्रेस की मीडिया पैनलिस्ट शमा मोहम्मद ने एक ट्वीट में कहा, “अरुंधति क्या निरर्थक बोल रही हैं! लोगों से एनपीआर में भाग लेने से इनकार करने के लिए कहना एक अलग बात है, लेकिन उनसे यह कहना की गलत विवरण दें, पूरी तरह से गलत है। हमें किसी से अनापेक्षित सलाह की जरूरत नहीं है, जो हमारी सेना का अपमान करता है।”
शमा की यह टिप्पणी रॉय के बयान के बाद आई है। रॉय ने बुधवार को दिल्ली विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन के दौरान कहा था कि एनपीआर, एनआरसी के लिए डाटाबेस के तौर पर काम करेगा और उन्होंने लोगों को गलत नाम और पता बताने के लिए कहा।
रॉय ने दावा किया कि एनआरसी देश के मुसलमानों के खिलाफ है और सर्वेक्षण करने वाले लोग एनपीआर के लिए नाम लेने के लिए लोगों के घरों का दौरा करेंगे और फिर एनआरसी के लिए एक डेटाबेस बनाने के लिए डेटा का उपयोग करेंगे।
रॉय ने कहा, “हमें इससे (एनपीआर) लड़ने की जरूरत है। जब वे एनपीआर के लिए आपके घर आएंगे और आपसे नाम पूछेंगे तो उन्हें रंगा-बिल्ला या कुंगफू-कुत्ता जैसे अलग नाम बता दें और गलत पता भी बताएं जैसे 7, रेस कोर्स रोड (प्रधानमंत्री आवास का पता)।”
बुकर पुरस्कार विजेता लेखिका की निंदा करते हुए भाजपा नेता उमा भारती ने ट्वीट किया कि ‘रंगा-बिल्ला’ दो कट्टर अपराधी थे, जो 70 के दशक में एक युवा लड़की से दुष्कर्म व हत्या को लेकर खबरों में रहे। भारती ने कहा कि एनपीआर के बारे में बोलते समय अरुंधति सिर्फ अपराधियों जैसे रंगा व बिल्ला को याद कर सकती है, न कि अशफाकउल्ला खान व राम प्रसाद बिस्मिल जैसे महान लोगों को।
उमा भारती ने अपने ट्वीट में कहा, “मुझे ऐसी महिला का नाम लेने में शर्म आती है जो रंगा-बिल्ला जैसे को सम्मान देती है। उनके विचार न सिर्फ महिला विरोधी बल्कि मानव विरोधी भी है।”
मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने रॉय की आलोचना करते हुए कहा, “अगर हमारे देश में इस प्रकार के बुद्धिजीवी है तो पहले इस तरह के लोगों का रजिस्टर बनाना चाहिए.. अरुंधति रॉय को खुद पर शर्म आनी चाहिए। क्या इस तरह के बयान देश के साथ धोखा नहीं हैं तो क्या हैं?”