तेज प्रताप की सत्तू पार्टी
तेजप्रताप ने सोमवार को कहा, ‘मैं आज से सत्तू पार्टी के कार्यक्रम की शुरुआत कर रहा हूं। इस दौरान लोगों से मुलाकात करूंगा। पहले इसका नाम ‘टी विद तेजप्रताप’ था जिसे हमने बदलकर ‘सत्तू विद तेजप्रताप’ कर दिया। ऐसा मैंने इसलिए किया क्योंकि सत्तू बिहार की धरोहर है।’
ट्वीट कर दी जानकारी
तेजप्रताप ने कार्यक्रम की जानकारी देते हुए ट्वीट में भाजपा पर निशना साधते हुए कहा, ‘चाय और गाय की ओछी राजनीति आप करो। आप को मुबारक हो। हमें तो बस बहाना बनाकर जनसेवा करना है।’ बता दें कि तेजप्रताप दोपहर के बाद अपने विधानसभा क्षेत्र महुआ के चेहर कला प्रखंड के करहटिया बुजुर्ग गांव पहुंचेंगे जहां वे सत्तू पार्टी विद तेजप्रताप में भाग लेंगे।
चाय पर चर्चा की तर्ज पर सत्तू पार्टी
तेजप्रताप की सत्तू पार्टी को प्रधानमंत्री मोदी की चाय पर चर्चा की तरह देखा जा रहा है। ‘चाय पर चर्चा’ की तर्ज पर ही तेज प्रताप ‘सत्तू विद तेजप्रताप’ में लोगों से विभिन्न मुद्दो पर बात करेंगे। उनकी समस्याओं को सुनेंगे।
सत्तू के बहाने सियासत
बता दें कि सत्तू बिहार में काफी पसंद किया जाता है। यहां लोग सत्तू की बनी शर्बत से लेकर रोटी तक काफी चाव से खाते हैं। यही नहीं घर में किसी मेंहमान के आने पर सत्तू पानी में घोर कर शर्बत की तरह दिया जता है। इसलिए सत्तू को बिहार की धरोहर की तरह माना जाता है। यही वजह है कि तेजप्रताप ने सत्तू को प्रमुख्ता देते हुए इसके माध्यम से बिहार की जनता से और जुड़ने का सियासी दाव खेला है।