बता दें कि इससे जुड़ी 10 से ज्यादा याचिकाएं सुनवाई के लिए लगी हैं। इनमें आर्टिकल 370 को बेअसर करने वाले संविधान संशोधन को गलत बताया गया है। सीताराम येचुरी की याचिका भी लिस्टेड
याचिकाकर्ताओं ने जम्मू-कश्मीर विधानसभा के प्रस्ताव के बिना राज्य को दो हिस्सों में बांटने को भी अवैध बताया है। आज इस मामले की सुनवाई सीजेआई रंजन गोगोई, जस्टिस एसए बोबड़े और एस अब्दुल नजीर की बेंच करेगी।
इसके अलावा जम्मू-कश्मीर में धारा 144 लगाने, मोबाइल-इंटरनेट सेवा बंद करने जैसी बातों से लोगों को हो रही दिक्कत पर भी सुनवाई करेगी। सीपीएम नेता यूसुफ तारिगामी को हिरासत में रखे जाने के खिलाफ उनकी पार्टी के महासचिव सीताराम येचुरी की याचिका भी सुनवाई के लिए लिस्टेड है।
मोदी सरकार के संशोधन को चुनौती अनुच्छेद 370 रद्द करने के फैसले के खिलाफ एक याचिका के अधिवक्ता एमएल शर्मा ने दायर की है। जबकि नेशनल कांफ्रेंस सांसद मोहम्मद अकबर लोन और अवकाश प्राप्त न्यायाधीश हसनैन मसूदी ने जम्मू-कश्मीर के संवैधानिक दर्जे में केंद्र द्वारा किए गए बदलावों को चुनौती दी है।
मोदी सरकार के इस रुख के खिलाफ पूर्व आईएएस अधिकारी शाह फैसल, जेएनयू की पूर्व छात्रा शेहला रशीद और राधा कुमार जैसे प्रख्यात हस्तियों सहित अन्य की भी याचिकाएं इसमें शामिल हैं।