परिषद के कार्यकारी सभापति ने राजद से अलग हुए समूह को जदयू में विलय की मान्यता प्रदान की है। इससे पूर्व राजद के इन पांच सदस्यों ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया था। उल्लेखनीय है कि इन पांच सदस्यों के जदयू में विलय कर लेने से विधान परिषद में अब राजद के तीन सदस्य पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी, सुबोध कुमार और रामचंद्र पूर्वे रह गए हैं। इसके बाद पार्टी के वरिष्ठ नेता और लालू प्रसाद के करीबी रघुवंश प्रसाद सिंह ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। हालांकि अभी उनका स्तीफा मंजूर नहीं हुआ है।
इसलिए पार्टी से नाराज थे रघुवंश (Why Raghuvansh was angry with party)
बताया जा रहा है कि वे वैशाली के पूर्व सांसद रामा सिंह के पार्टी में आने को लेकर नाराज चल रहे थे। रामा सिंह ने पिछले दिनों ही तेजस्वी यादव से मुलाकात की थी और इसके बाद यह तय माना जा रहा था कि वह 29 जून को राजद में शामिल हो जाएंगे। इस बात से रघुवंश नाराज चल रहे थे। गौरतलब है कि 2014 के लोकसभा चुनाव में लोजपा के टिकट पर रामासिंह ने रघुवंश को हराया था।
बताया जा रहा है कि वे वैशाली के पूर्व सांसद रामा सिंह के पार्टी में आने को लेकर नाराज चल रहे थे। रामा सिंह ने पिछले दिनों ही तेजस्वी यादव से मुलाकात की थी और इसके बाद यह तय माना जा रहा था कि वह 29 जून को राजद में शामिल हो जाएंगे। इस बात से रघुवंश नाराज चल रहे थे। गौरतलब है कि 2014 के लोकसभा चुनाव में लोजपा के टिकट पर रामासिंह ने रघुवंश को हराया था।