नोएडा। दादरी विधानसभा प्रत्याशी को लेेकर राष्ट्रीय अध्यक्ष आैर भाजपा के पदाधिकारियों के खिलाफ जाकर मंत्री महेश शर्मा ने अपनी पसंद का प्रत्याशी चुना है। उन्होंने अपना वीटो लगाकर नवाब सिंह नागर को प्रत्याशी बनने से रोक दिया है। यह दावा उन्हीं की पार्टी के बागी नेता आेमकार भाटी ने किया है। इससे पहले भी महेश शर्मा पार्टी नेता से लेकर कार्यकर्ताआें के खिलाफ जाकर अपनी वीटो का इस्तेमाल कर प्रत्याशी को लड़ाया था। हालांकि प्रत्याशी को करारी हार मिली थी। वहीं महेश शर्मा पर हमला बोलते हुए आेमकार भाटी ने कहा कि महेश शर्मा पार्टी के पक्ष की जगह अपनी गुर्जर विरोध को आगे करने के लिए जीत के दावेदार नेता की जगह अपने दूसरे नजदीकी नेता को टिकट दिलाना चाहते हैं। इससे पार्टी को भारी नुकसान हो सकता है। इस नेता को ही किया किनारे आेमकार भाटी ने कहा कि पूर्व मंत्री नवाब सिंह नागर जिले के सबसे पुराने नेता हैं। उनसे जिले में भाजपा की पहचान बनी है। उन्हीं ने हम लोगों समेत अन्य कर्इ नेताआें को भाजपा में शामिल कराया था। उन्होंने जिले से भाजपा की पहचान बनाने हुए कर्इ बार सीट भी निकाली है। इतना ही नहीं अाज भी उनका जिले में दबदबा है। लोगों के बीच अच्छी छाप है। इसके बाद भी कुछ सालों पहले ही पार्टी में शामिल हुए महेश शर्मा उन्हें किनारे कर रहे हैं। गुर्जर समाज गाली देने का आरोप ओमकार भाटी ने कहा कि महेश शर्मा ने हमारी बिरादरी को खुलेआम गालियां दी हैं। हमारी बिरादरी के नेताओं को विधानसभा टिकट दिलाने का झुनझुना थमा दिया। जिससे हमारे लोग उनका विरोध करने की बजाय हमारा ही विरोध करने में जुट जाए। लेकिन अब महेश शर्मा का वास्तविक चेहरा सामने आ गया है। महेश शर्मा पूर्व मंत्री नवाब सिंह नागर का टिकट कटवाने के लिए ऐड़ी से चोटी का जोर लगा दिया है। नवाब सिंह के खिलाफ है महेश शर्मा भाजपा नेता आेमकार भाटी ने कहा कि नवाब सिंह नागर को टिकट मिल गया तो वह चुनाव जीतेंगे और सरकार में मंत्री भी बनेंगे। ऐसे में जिले के लोग और संगठन डॉ. महेश शर्मा को छोड़कर नवाब सिंह नागर के साथ खड़े हो जाएंगे। जिले में उनकी लोकप्रियता आैर घट जाएगी। इसी डर से वह नवाब सिंह के टिकट कटाने के लिए पूरी जोर आजमाइश कर रहे हैं। सबके खिलाफ जाकर किया वीटो भाटी ने दावा किया कि पार्टी के बड़े पदाधिकारी भी नवाब सिंह नागर को पसंद करते हैं। वह नागर की दावेदारी आैर संभावित जीत को देखते हुए, उन्हें प्रत्याशी बनाना चाहते हैं। इसको लेकर कर्इ बार चर्चा भी हो चुकी है, लेकिन महेश शर्मा शुरू से ही इसके विरोध में हैं। यहीं कारण है कि उन्होंने अपनी वीटो इस्तेमाल कर नवाब सिंह नागर का टिकट नहीं होने दिया। पहले भी एेसा कर चुके हैं महेश शर्मा बताते चले कि इससे पहली विधानसभा चुनाव में डाॅ महेश शर्मा ने पार्टी नेता से लेकर कार्यकर्ताआें के खिलाफ में जाकर जेवर विधानसभा से सुंदर सिंह राणा को सीट पर उतारा था। इसके विरोध में पार्टी नेताआें ने नारेबाजी के साथ ही पुतला जलाकर इसका विरोध किया था। यहीं कारण था कि सुंदर सिंह काे करारी हार का सामना करना पड़ा था।