scriptप्रतिबंध के बावजूद शिविर में जारी हाथी की सवारी | Patrika News
समाचार

प्रतिबंध के बावजूद शिविर में जारी हाथी की सवारी

पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के प्रोजेक्ट एलीफेंट ने बंदी हाथियों के कल्याण के लिए नियम निर्धारित किए हैं। लेकिन, सकरेबाइल हाथी शिविर में प्रत्येक सवारी के लिए पर्यटकों से बच्चों के लिए 30 रुपए तथा वयस्कों के लिए 100 रुपए वसूले जा रहे हैं। यह नियमों का खुलेआम उल्लंघन है।

बैंगलोरOct 26, 2024 / 10:05 am

Nikhil Kumar

शिविरों में हाथी की सवारी Elephant rides in camp पर प्रतिबंध है। फिर भी राज्य के शिवमोग्गा के सकरेबाइल हाथी शिविर में पर्यटकों के मनोरंजन के लिए हाथियों का खुलेआम इस्तेमाल किया जा रहा है।
राज्य वन्यजीव बोर्ड के पूर्व सदस्य जोसेफ हूवर ने कहा कि पशु क्रूरता अधिनियम 1960, और राजस्थान सरकार के 2010 के आदेश के अनुसार किसी भी प्रकार के प्रदर्शन में हाथियों के उपयोग (इसमें सवारी भी शामिल है) के लिए भारतीय पशु कल्याण बोर्ड (एडब्ल्यूबीआइ) से अनुमति लेना आवश्यक है। पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के प्रोजेक्ट एलीफेंट ने बंदी हाथियों के कल्याण के लिए नियम निर्धारित किए हैं। लेकिन, सकरेबाइल हाथी शिविर में प्रत्येक सवारी के लिए पर्यटकों से बच्चों के लिए 30 रुपए तथा वयस्कों के लिए 100 रुपए वसूले जा रहे हैं। यह नियमों का खुलेआम उल्लंघन है।
हूवर ने कहा कि वन विभाग का प्राथमिक कार्य वनों और वन्यजीवों की रक्षा करना है। दुर्भाग्य से, पर्यटन को बढ़ावा दिया जा रहा है। मडिकेरी के हरंगी कैंप में हाथी की सवारी शुरू करने की योजना है। उम्मीद है कि वन मंत्री ईश्वर खंड्रे वन विभाग को रोकेंगे और बंदी हाथियों को होने वाली परेशानियों से बचाएंगे।

Hindi News / News Bulletin / प्रतिबंध के बावजूद शिविर में जारी हाथी की सवारी

ट्रेंडिंग वीडियो