नई दिल्ली

सार्वजनिक मंचों पर भ्रामक जानकारी को प्रसारित करने की अनुमति नहीं दी जा सकती-धनखड़

-उपराष्ट्रपति ने शिलांग में मेघालय कौशल और नवाचार केंद्र का किया शिलान्यास

नई दिल्लीOct 17, 2024 / 11:27 am

Shadab Ahmed

नई दिल्ली. उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने अज्ञानता और भ्रामक आख्यानों पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने सवाल किया कि क्या सार्वजनिक मंचों पर भ्रामक जानकारी फैलाने की अनुमति दी जानी चाहिए? क्या हम अपने राष्ट्र के प्रति अपनी बुनियादी प्रतिबद्धता को नजरअंदाज कर सकते हैं? उन्होंने युवाओं को जागरूक करते हुए जोर देकर कहा कि भारत अविभाज्य है और प्रगति के पथ पर अग्रसर है। धनखड़ ने युवाओं का आह्वान करते हुए उनको 2047 के विकसित भारत बनाने की राह में बेहद महत्वपूर्ण योगदानकर्ता और हितधारक बताया।
धनखड़ ने यह बातें शिलांग में मेघालय कौशल और नवाचार केंद्र के शिलान्यास समारोह में कही। उन्होंने कहा कि उत्तर-पूर्व देश के विकास के रडार पर है। राष्ट्र की एकता, आर्थिक प्रगति और सांस्कृतिक सार में उत्तर-पूर्व का महत्वपूर्ण योगदान है। धनखड़ ने ‘लुक ईस्ट एवं एक्ट ईस्ट नीति’ की सराहना की, जिसके परिणामस्वरूप क्षेत्र में संचार, कनेक्टिविटी और हवाई अड्डों के विकास में तेजी आई है। उपराष्ट्रपति ने जोर देकर कहा कि कौशल को न तो खोजा जाता है और न ही नवीनीकृत किया जाता है। यह व्यक्ति के विशिष्ट क्षेत्र में प्रतिभा का दोहन है जो मानव संसाधन को गुणात्मक रूप से अत्याधुनिकता प्रदान करता है। कौशल अब एक गुणवत्ता नहीं है, यह हमारी जरूरत है। इस कार्यक्रम के मौके पर मेघालय के राज्यपाल सी.एच. विजयशंकर, मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड के संगमा, कैबिनेट मंत्री डॉ. माज़ेल अम्पारीन लिंगदोह, मेघालय सरकार के मुख्य सचिव डोनाल्ड फिलिप्स वाहलांग एवं अन्य गणमान्य सदस्य भी उपस्थित रहे।

कौशल केंद्रों का केंद्र बने गांव और कस्बे

उपराष्ट्रपति ने कौशल विकास को समर्पित कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय के गठन और पांच साल की अवधि में 5 लाख युवाओं की इंटर्नशिप के लिए 60,000 करोड़ रुपए के आवंटन पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि गांवों और कस्बों को कौशल केंद्रों का केंद्र होना चाहिए।

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