नई दिल्ली. दुनियाभर में प्रसिद्ध अजमेर के ख्वाजा गरीब नवाज की दरगाह में मंदिर होने के दावे पर अदालत के सुनवाई मंजूर करने के बीच वक्फ संशोधन एक्ट फिलहाल बजट सत्र 2025 तक के लिए टल गया है। इस बीच लोकसभा में केन्द्र सरकार ने देशभर में 58 हजार 929 वक्फ संपत्तियों पर लोगों के अतिक्रमण होने की जानकारी दी है।
दरअसल, वक्फ संपत्तियों और उस पर वक्फ बोर्ड के नियंत्रण को लेकर हंगामा बरपा हुआ है। इस बीच कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री व सांसद बसवराज बोम्मई ने लोकसभा में वक्फ संपत्तियों पर कब्जे को लेकर सवाल किया। इसके जवाब में अल्पसंख्यक कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने लिखित जवाब में कहा कि भारतीय वक्फ प्रबंधन प्रणाली के तहत 58 हजार 929 संपत्तियों पर लोगों का अतिक्रमण है। वहीं सूत्रों ने बताया कि देशभर में करीब 3 लाख 30 हजार से अधिक वक्फ संपत्तियां रिकॉर्ड में दर्ज है।
बजट सत्र के अंतिम दिन तक पेश करनी होगी रिपोर्ट
केन्द्र सरकार के कैबिनेट से करीब 40 संशोधनों को मंजूरी के बाद संसद के बजट सत्र में वक्फ संशोधन एक्ट पेश किया था। विपक्षी इंडिया ब्लॉक के साथ एनडीए के टीडीपी जैसे घटक दलों के विरोध के चलते इस संशोधन एक्ट को जेपीसी के पास भेजा गया, जिसका कार्यकाल 29 नवंबर को समाप्त होना था। कई दौर की बैठकों व हजारों लोगों से सुनवाई के बाद जेपीसी अध्यक्ष जगदंबिका पाल इसकी रिपोर्ट शीतकालीन सत्र में रखना चाहते थे। इस बीच विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर इस एक्ट पर जल्दबाजी नहीं दिखाने का आग्रह किया। इसे केन्द्र सरकार ने मान लिया। इसके बाद लोकसभा में गुरुवार को जगदंबिका पाल ने एक्ट के लिए जेपीसी की रिपोर्ट पेश करने का समय बजट सत्र 2025 के अंतिम दिन तक बढ़ाने का प्रस्ताव रखा, जिसे हंगामे के बीच सर्वसम्मिति से पारित कर दिया।
विपक्ष का हंगामा, सरकार की निंदा
लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही गुरुवार को भी विपक्ष के हंगामे की भेंट चढ़ गई। दोनों सदनों में हंगामे के चलते पहले कार्यवाही 12 बजे और बाद में दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई। इस दौरान लोकसभा में संसदीय कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने लोकसभा की कार्यवाही नहीं चलने देने के लिए विपक्ष की निंदा की। उन्होंने कहा कि बीएसी की बैठक में सभी सदस्य विधेयकों पर चर्चा करने और कामकाज को ठीक से चलने देने के लिए राजी हुए थे। हालांकि यहां हंगामा हो रहा है। उन्होंने वक्फ संबंधित समिति का कार्यकाल बढ़ाए जाने के दौरान भी विपक्ष के हंगामा करने की निंदा की। उन्होंने कहा कि सर्वसम्मति से समिति का कार्यकाल बढ़ाए जाने पर सहमति बनी थी लेकिन प्रस्ताव पर मतदान के दौरान विपक्ष हंगामा कर रहा है।
संविधान सभा में भी असहमति थी, लेकिन हंगामा नहीं-बिरला
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने विपक्ष को संविधान की 75वीं वर्षगांठ का ध्यान दिलाते हुए कहा कि संविधान सभा में भी असहमति थी और बहस हुई हैं लेकिन इस तरह का हंगामा ठीक नहीं है। उन्होंने सभी सांसदों से मर्यादित आचरण बनाए रखने की अपील की।