दरअसल, शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव केके पाठक के नवादा आगमन को लेकर शिक्षक अपने अपने स्कूल की व्यवस्थाओं को ठीक करने में जुटे हैं। समय सीमा समाप्त होता देख कुछ शिक्षक प्लंबर के बजाय खुद ही व्यवस्थाओं को ठीक करने में जुट गए हैं। आमतौर पर लेटलतीफी करने वाले शिक्षक रविवार को भी स्कूल में समय देने लगे हैं। ताकि स्कूल की व्यवस्था को दुरूस्त कर लिया जाए और निरीक्षण के लिए केके पाठक या कोई अन्य अधिकारी आएं तो उन्हें किसी तरह की कमियां नजर नहीं आए।
गुरूवार से दो दिनों के नवादा दौरे पर है केके पाठक
बता दें कि शिक्षा विभाग के अपर सचिव केके पाठक गुरूवार को दो दिवसीय नवादा के दौरे पर है। उनके आगमन को लेकर प्रखंड के शिक्षकों में डर का माहौल है। कमोबेश सभी विद्यालयों में व्यवस्थाओं को दुरूस्त करने की तैयारी चल रही है। कहीं बच्चों के बैठने और मध्यान्ह भोजन दौरान बैठने के लिए दरी की खरीदारी हो रही है। तो कहीं शौचालयों में टाइल्स लगाने का भी काम जोर शोर से हो रहा है। शिक्षकों का कहना है कि क्या पता किस विद्यालय में उनका आगमन हो जाए। इतना तो सच है कि पाठक जी का आगमन हो या नहीं हो, पर विद्यालय में जरूरी संसाधनों की पूर्ति जरूर हो जाएगी।
स्कूल की वायरिंग में जुटे शिक्षक
ऐसा ही एक और उदाहरण तब दिखा, जब सहायक शिक्षक दिलीप कुमार बुधवार को अपने साथी के साथ हथौड़ी, पेचकस, प्लास, बिजली वायर, सीढ़ी आदि लेकर विद्यालय पहुंच गए और विद्यालय के क्लासरूम का ताला खोलकर लाइट और पंखा के साथ ही वायरिंग की मरम्मत में जुट गए।
राज्य भर में हो रही चेकिंग
बताते चले कि इन दिनों केके पाठक के आदेश पर राज्य के सभी स्कूलों का निरीक्षण चल रहा है। स्कूल से गैर हाजिर या लेट आने वाले शिक्षकों के साथ ही स्कूल एवं क्लास की व्यवस्था ठीक नहीं होने पर भी कार्रवाई हो रही है। इसलिए शिक्षा विभाग में हड़कंप मचा हुआ है। शिक्षक मोबाइल चलाना तो दूर क्लास में कुर्सी पर भी बैठना मुनासिब नहीं समझ रहे हैं। विद्यालय के प्रधानाध्यापक, प्रभारी प्रधानाध्यापक स्कूल की मरम्मत में जुटे हुए हैं। जिले के अनेकों स्कूलों मे इसका उदाहरण देखा गया।