इन वजहों से दिल्ली में हुई बीयर की कमी
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बीयर की किल्लत के पीछे बड़ी वजह है। दरअसल गर्मी की जल्द शुरुआत, चिलचिलाती धूप, बढ़ती मांग और ‘प्रतिबंधित’ सप्लाई जैसे कारणों के चलते शहर में शराब की दुकानों पर अब बीयर की भारी कमी हो गई है।
इन तमाम वजहों के चलते ज्यादातर लोकप्रिय ब्रांडों की बीयर दुकानों से आउट ऑफ स्टॉक हो गई है। सबसे पसंदीदा मादक पेय में से एक, बीयर रेस्टो-बार से भी गायब हो गई है।
यह भी पढ़ें – दिल्ली में मची सस्ती शराब बेचने की होड़, जानिए क्या है इसके पीछे की वजह मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक फिलहाल लोगों कि इस कमी से जूझना होगा। यानी मई के साथ जून में भी बीयर की कमी देखने को मिल सकती है। इतना ही नहीं जुलाई में भी लोगों को बीयर की किल्लत का सामना करना पड़ेगा। यानी अगले दो महीने शहर में बीयर के शौकीनों के लिए मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
पहली बार नहीं बीयर की किल्लत
यही वजह है कि इस कमी के चलते बीयर पीने वालों को अन्य विकल्पों की तलाश करनी होगी। हालांकि ऐसा पहली बार नहीं है जब शहर में बीयर की किल्लत देखने को मिल रही है। दिल्ली में हर साल बीयर की बढ़ती मांग और सीमित आपूर्ति देखी गई है।
हालांकि शराब विक्रेता इस बात की पुष्टि कर रहे हैं कि पहली बार लेगर और स्ट्रांग बीयर के सभी प्रमुख ब्रांड और वेरिएंट (कैन, पिंट और बोतलें) इस बार दुकानों से गायब हो गए हैं।
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बीयर की किल्लत के पीछे बड़ी वजह है। दरअसल गर्मी की जल्द शुरुआत, चिलचिलाती धूप, बढ़ती मांग और ‘प्रतिबंधित’ सप्लाई जैसे कारणों के चलते शहर में शराब की दुकानों पर अब बीयर की भारी कमी हो गई है।
इन तमाम वजहों के चलते ज्यादातर लोकप्रिय ब्रांडों की बीयर दुकानों से आउट ऑफ स्टॉक हो गई है। सबसे पसंदीदा मादक पेय में से एक, बीयर रेस्टो-बार से भी गायब हो गई है।
यह भी पढ़ें – दिल्ली में मची सस्ती शराब बेचने की होड़, जानिए क्या है इसके पीछे की वजह मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक फिलहाल लोगों कि इस कमी से जूझना होगा। यानी मई के साथ जून में भी बीयर की कमी देखने को मिल सकती है। इतना ही नहीं जुलाई में भी लोगों को बीयर की किल्लत का सामना करना पड़ेगा। यानी अगले दो महीने शहर में बीयर के शौकीनों के लिए मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
पहली बार नहीं बीयर की किल्लत
यही वजह है कि इस कमी के चलते बीयर पीने वालों को अन्य विकल्पों की तलाश करनी होगी। हालांकि ऐसा पहली बार नहीं है जब शहर में बीयर की किल्लत देखने को मिल रही है। दिल्ली में हर साल बीयर की बढ़ती मांग और सीमित आपूर्ति देखी गई है।
हालांकि शराब विक्रेता इस बात की पुष्टि कर रहे हैं कि पहली बार लेगर और स्ट्रांग बीयर के सभी प्रमुख ब्रांड और वेरिएंट (कैन, पिंट और बोतलें) इस बार दुकानों से गायब हो गए हैं।
बिना छूट के दे रहे बीयर
जहां नए ब्रांडों ने भी भारी बिक्री दर्ज की है, वहीं कुछ विक्रेताओं की ओर से ग्राहकों से प्रीमियम वसूलने की खबरें आई हैं। अधिकांश ब्रांड अधिकतम खुदरा मूल्य पर बिक रहे हैं और विक्रेता बीयर पर छूट नहीं दे रहे हैं।
कन्फेडरेशन ऑफ इंडियन अल्कोहलिक बेवरेज कंपनीज के महानिदेशक के मुताबिक, इस वर्ष बीयर की मांग में पिछले वर्षों की तुलना में कम से कम 30 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
एक अनुमान के मुताबिक, दिल्ली में हर साल बीयर के 315-320 मिलियन केसेस बेचे जाते हैं और अप्रैल-जुलाई के चरम गर्मी के मौसम में 40 फीसदी से ज्यादा की खपत होती है।
यह भी पढ़ें – दिल्ली में शराब की होम डिलीवरी को लेकर अभी करना होगा इंतजार, कारोबारियों को केजरीवाल सरकार ने दी राहत
जहां नए ब्रांडों ने भी भारी बिक्री दर्ज की है, वहीं कुछ विक्रेताओं की ओर से ग्राहकों से प्रीमियम वसूलने की खबरें आई हैं। अधिकांश ब्रांड अधिकतम खुदरा मूल्य पर बिक रहे हैं और विक्रेता बीयर पर छूट नहीं दे रहे हैं।
कन्फेडरेशन ऑफ इंडियन अल्कोहलिक बेवरेज कंपनीज के महानिदेशक के मुताबिक, इस वर्ष बीयर की मांग में पिछले वर्षों की तुलना में कम से कम 30 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
एक अनुमान के मुताबिक, दिल्ली में हर साल बीयर के 315-320 मिलियन केसेस बेचे जाते हैं और अप्रैल-जुलाई के चरम गर्मी के मौसम में 40 फीसदी से ज्यादा की खपत होती है।
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