महिला खिलाड़ियों की आवाज में प्रियंका गांधी ने मिलाई आवाज
WFI प्रमुख बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ 23 अप्रैल से जंतर-मंतर पर पहलवान धरना दे रहे हैं। आज धरना दे रहे पहलवानों पर दिल्ली पुलिस ने सख्त रवैया अपनाया। दिल्ली पुलिस ने जंतर-मंतर से पहलवानों का तंबू हटा दिया है। और जंतर-मंतर से नए संसद भवन की ओर मार्च कर रहे पहलवानों को हिरासत में ले लिया। दिल्ली पुलिस की निर्दयता के खिलाफ कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने आवाज उठाई। और भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहाकि, खिलाड़ियों की छाती पर लगे मेडल हमारे देश की शान होते हैं। उन मेडलों से, खिलाड़ियों की मेहनत से देश का मान बढ़ता है। भाजपा सरकार का अहंकार इतना बढ़ गया है कि सरकार हमारी महिला खिलाड़ियों की आवाजों को निर्ममता के साथ बूटों तले रौंद रही है। ये एकदम गलत है। पूरा देश सरकार के अहंकार और इस अन्याय को देख रहा है।
पहलवानों के साथ भी खड़ी हुईं स्वाति मालीवाल
दिल्ली महिला आयोग की प्रमुख स्वाति मालीवाल ने भी पहलवानों के साथ हुई सख्ती का विरोध करते हुए अपने ट्वीट में लिखा कि इन लड़कियों ने विदेशी सरजमीं पर तिरंगा ऊंचा किया था। आज इन बेटियों को ऐसे घसीटा जा रहा है और तिरंगा ऐसे सड़क पर अपमानित हो रहा है।
दिल्ली मेयर का दिल्ली पुलिस को इनकार
दिल्ली की मेयर शैली ओबेरॉय ने रविवार को नवनिर्मित संसद भवन के बाहर महिला पंचायत के लिए पहलवानों के आह्वान के मद्देनजर दिल्ली के खंजावाला में प्राथमिक विद्यालय को अस्थायी जेल में बदलने की पुलिस की मांग को खारिज कर दिया। ओबेरॉय ने पत्र में कहा, मुझे संज्ञान में लाया गया है कि दिल्ली पुलिस द्वारा एमसीडी के उपायुक्त (उत्तर) को 27 मई को एक पत्र भेजा गया है, इसमें एम.सी. प्राइमरी गर्ल्स स्कूल, खंजावाला चौक, पुराने भवन में 28 मई को एक अस्थायी जेल बनाने के लिए कहा गया है। लेकिन निर्देश दिया गया है कि ऐसी कोई अनुमति नहीं दी जाएगी।
पहलवानों को हिरासत में लेना बेहद निंदनीय : सीएम केजरीवाल
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रविवार को पहलवानों के खिलाफ पुलिस कार्रवाई की निंदा की। केजरीवाल ने ट्वीट कर कहा, देश का मान बढ़ाने वाले हमारे खिलाड़ियों के साथ ऐसा व्यवहार बेहद निंदनीय है।